देश में धार्मिकता की एक ऊँची जगह है और पूजा-प्रार्थना में धूप या अगरबत्तियों का न होना अधूरापन सा लगता है. अगरबत्ती का बिजनेस इस देश में कभी मंदा नहीं पड़ता. पूजा स्थल और घर के वातावरण को पवित्र बनाने रखने के लिए के लिए धूप या अगरबत्तियों का इस्तेमाल होता है. धूप अगरबत्ती का बिज़नेस एक ऐसा बिजनेस है जिसे कम पूँजी लगाकर भी शुरू किया जा सकता है. हर व्यक्ति अपना खुद का बिजनेस शुरू करना तो चाहता है किन्तु उचित जानकारी के अभाव में ऐसा कर नही पाता है.
अगरबत्ती बनाने की सामग्री (Row material for making Incense sticks)
अगरबत्ती बनाने के लिए सामग्री में गम पाउडर, चारकोल पाउडर, बांस की स्टिक, नर्गिस पाउडर, खुशबूदार तेल, पानी, सेंट, फूलों की पंखुड़ियां, चंदन की लड़की, जेलेटिन पेपर, पैकिंग मटीरियल आदि की आवश्यकता होती हैं.
अगरबत्ती व्यवसाय को शुरू करने में पूंजी की आवश्यकता (Need capital to start Agarbatti business)
वैसे तो देश में अगरबत्ती बनाने की मशीन की कीमत 35000 रुपए से 175000 रुपए तक उपलब्ध है. इस मशीन की क्षमता 150 से 200 अगरबत्ती प्रति मिनट है. लेकिन इस बिजनेस को आप 13,000 रूपये की लागत के साथ घरेलू तौर पर भी हाथों से निर्माण कर शुरू कर सकते हैं. मगर अगरबत्ती के पूरे बिजनेस को शुरू करने के लिए लगभग 5 लाख रूपये तक की पूँजी की आवश्यकता पड़ेगी.
बिजनेस को शुरू करने में अगरबत्ती को बनाने में कच्चा माल, सामग्रियां, उसकी मात्रा और अगरबत्तियों का बाजार मूल्य, ट्रांस्पोर्टेशन खर्च आदि के द्वारा भी बिजनेस को घटाया या बढ़ाया जा सकता है.
कुछ सामग्री की कीमत इस प्रकार है- चारकोल डस्ट 13 रुपये प्रति किलो, जिगात पाउडर 60 रुपये प्रति किलो, सफ़ेद चिप्स पाउडर 22 रुपये प्रति किलो, चन्दन पाउडर, बांस स्टिक 116 रुपये प्रति किलो, परफ्यूम 400 रुपये प्रति पीस, पेपर बॉक्स 75 रुपये प्रति दर्जन, रैपिंग पेपर 35 रूपये प्रति पैकेट है. यह दर बाजार, कस्बों, शहर आदि पर भी निर्भर करती है.
अगरबत्ती बनाने की मशीन की सामान्य जानकारी (Knowledge of making incense sticks machine)
अगरबत्ती बनाने में कई तरह की मशीनें उपयोग में आती हैं, इनमें मिक्सचर मशीन, ड्रायर मशीन और मेन प्रोडक्शन मशीन शामिल है. मिक्सचर मशीन का कार्य कच्चे माल का पेस्ट बनाना है और यह पेस्ट मेन प्रोडक्शन मशीन द्वारा लकड़ी या बांस पर लपेटा जाता है. अगरबत्ती बनाने के मशीन सेमी या पूरी ऑटोमेटिक (Full automatic) हो सकती है. बजट के हिसाब से और जरूरत के हिसाब से मशीन का चुनाव करें. इसके बाद इंस्टॉलेशन के मशीनों के सप्लायर से डील करनी पड़ेगी और मशीन इंस्टॉलेशन करवाएं. मशीनों पर काम करने की ट्रेनिंग लेना भी आवश्यक है, जो इंस्टॉलेशन करने वाली कम्पनी भी सुविधा देती है.
कम दाम वाली मशीन में प्रोडक्शन भी कम होता है और आपको इससे ज्यादा मुनाफा नहीं मिल पाता. वहीं दूसरी तरफ अगरबत्ती बनाने वाली पूरी आटोमेटिक मशीन से काम की शुरुआत करें, तो अगरबत्ती बनने का काम भी तेजी से होगा. आटोमेटिक मशीन की कीमत 90000 से 175000 रुपए तक होती है, जो एक दिन में 100 किलो अगरबत्ती बना देती है.
अगरबत्ती बनाने की मशीनें (Incense sticks making machines)
अगरबत्ती मेकिंग मशीन: इस मशीन की कीमत लगभग 65000 रुपये है. यह सेमी ओटोमेटिक मशीन 180 किलो वजन की है. इसमें अगरबत्ती स्टिक की लम्बाई 8 से 12 इंच की बनाई जा सकती है. यह 1 HP की मशीन है जो एक मिनट में 150 से 170 अगरबत्ती स्टिक बना देती है. अधिक जानकारी के लिए 9825457848 या 9512630024 पर सम्पर्क किया जा सकता है.
कृष्णा इंजीनियर्स अगरबत्ती मेकिंग मशीन: इस मशीन की कीमत लगभग एक लाख है जो फुली ओटोमेटिक है. इसमें अगरबत्ती स्टिक की लम्बाई 8 से 10 इंच की बनाई जा सकती है. यह 1 HP की मशीन है जो एक घंटे में 8000 अगरबत्ती स्टिक बना देती है. इसका वजन 100-125 किलो है. अधिक जानकारी के लिए 08048763636 पर या https://www.krishna-engineers.in/flora-agarbatti-making-machine.html पर क्लिक करके सम्पर्क किया जा सकता है.
सोहम ओटोमेटिक अगरबत्ती मेकिंग मशीन: इस मशीन की कीमत लगभग 80,000 रुपये राखी गई है. यह ओटोमेटिक मशीन 125 किलो वजन की है. इसमें अगरबत्ती स्टिक की लम्बाई 8 से 12 इंच की बनाई जा सकती है. यह 1 HP की मशीन है. अधिक जानकारी के लिए 9825457848 पर सम्पर्क किया जा सकता है.
पैकेजिंग और मार्केटिंग (Packaging and Marketing)
अगरबत्ती के पैकिंग की डिजाइन आकर्षक रखे, ऐसा करने से उत्पाद अधिक बिकता है. पैकिंग और पैकिंग की डिजाइन के लिए किसी पैकेजिंग एक्सपर्ट की सलाह भी ली जा सकती है. इस पैकिंग की डिजाइन और पैकेजिंग के द्वारा लोगों की धार्मिकता को बढ़ावा देने की कोशिश करें. अगरबत्तियों की मार्केटिंग करने के लिए बाजार में पोस्टर लगाकर, अखबारों में विज्ञापन देकर या किसी अखबार एजेन्ट के द्वारा अखबार के साथ पेम्प्लेट या फोल्डर दिया जा सकता है. टीवी या रेडियों में विज्ञापन (एडवरटाइज़मेंट दे सकते हैं. यदि आपके पास अच्छा बजट है तो कंपनी की ऑनलाइन वेबसाइट बनाएं और अपने विभिन्न उत्पादों की मार्केटिंग करें तथा ऑनलाइन खरीदने की सुविधा दें.