महेंद्र सिंह धोनी (Mahendra Singh Dhoni) खेल के मैदान पर अपनी क्षमताओं के लिए काफी मशहूर हैं. बिजली की त्वरित सजगता के साथ एक चौकस विकेट-कीपर, धोनी ने क्रिकेट की दुनिया में अपनी जगह बनाई है जिसे कभी भुलाया नहीं जा सकता है. लेकिन धोनी सिर्फ यहीं तक ही सिमित नहीं है. दरअसल, क्रिकेट में अपनी समृद्ध विरासत के अलावा, धोनी का बटर चिकन (Butter Chicken) के प्रति प्रेम उनके फैंस के बीच काफी प्रसिद्ध है.
धोनी और कड़कनाथ (Dhoni and Kadaknath)
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी के कई व्यवसाय हैं जिसमें से एक पोल्ट्री फार्मिंग (Poultry Farming) में भी है. जहां वह काले मुर्गे की नस्ल कड़कनाथ (Kadaknath Chicken Business Profit) का कारोबार करते हैं. कड़कनाथ मुर्गे की दक्षिण भारत में अत्यधिक मांग हैं.
क्या है कड़कनाथ मुर्गे की खासियत (What is the specialty of Kadaknath chicken)
इस नस्ल के मांस और अंडे (Kadaknath Chicken and Egg) को बहुत स्वस्थ माना जाता है क्योंकि इनमें कोलेस्ट्रॉल कम होता है और ये प्रोटीन से भरपूर होते हैं. कुछ रिपोर्ट्स के मुताबिक दिल का मरीज भी इस नस्ल के मांस और अंडे का सेवन खुशी-खुशी कर सकता है. चूंकि इस नस्ल के मांस में कम वसा और कोलेस्ट्रॉल होता है, मधुमेह और हृदय रोगी इनका सेवन कर सकते हैं.
कहा जाता है कि कड़कनाथ मुर्गे की इस नस्ल की उत्पत्ति मध्य प्रदेश, गुजरात, राजस्थान और छत्तीसगढ़ से हुई है. आम तौर पर, नियमित ब्रॉयलर को सामान्य आकार में आने में 45 दिन लगते हैं जबकि कड़कनाथ नस्ल को सामान्य वजन तक पहुंचने में छह से आठ महीने लगते हैं.
आमतौर पर आदिवासी समुदाय इस नस्ल को पालने में रुचि दिखाते हैं. Kadaknath नस्ल के मांस का रंग काला होता है जबकि अंडे का रंग हल्का गुलाबी रंग का होता है. साथ ही हैदराबाद में इसके मीट की कीमत 1,000 से 1,200 रुपये प्रति किलो और जीवित पक्षी की कीमत 850 रुपये प्रति किग्रा है.
कड़कनाथ मुर्गे का व्यवसाय कैसे करें (How to do kadaknath chicken business)
अगर आप कड़कनाथ मुर्गी का व्यवसाय करना चाहते हैं तो आपको 100 मुर्गियां रखने के लिए 150 वर्ग फुट जगह चाहिए. साथ ही अगर आप एक हजार मुर्गियां रखना चाहते हैं तो आपको 1,500 वर्ग फुट जगह चाहिए. साथ ही मुर्गी शोर-शराबे से दूर होनी चाहिए. पानी और बिजली की प्रचुर आपूर्ति होनी चाहिए.
कैसे रखें कड़कनाथ मुर्गे का ख्याल (How to take care of Kadaknath chicken)
कड़कनाथ के चूजों और मुर्गियों को अंधेरे में और रात में नहीं खाना देना चाहिए. चिकन शेड को हर दिन कुछ घंटों की रोशनी की जरूरत होती है.
साथ ही दो पोल्ट्री फार्म (Poultry Farm) एक दूसरे के करीब नहीं होने चाहिए. साथ ही पोल्ट्री फार्म में पर्याप्त हवा और रोशनी होनी चाहिए.