उत्तर प्रदेश के किसानों के लिए सरकार ने एग्रो मेट एडवाइजरी जारी की है. इसमें किसानों के लिए जरूरी और महत्वपूर्ण जानकारी दी गई है. ऐसे में आइये जानते हैं इससे जुड़ी सारी अहम बातें, जो किसान भाईयों के लिए बेहद ही जरूरी है.
गेंहू की फसलों को लेकर एडवाइजरी
उत्तर प्रदेश के फतेहपुर, प्रतापगढ़, इलाहाबाद, चित्रकूट और कौशाम्बी के किसानों के लिए एक जरूरी और महत्वपूर्ण सूचना है. मौसम को देखते हुए सरकार द्वारा किसानों के लिए जारी एडवाइजरी के मुताबिक, जो किसान भाई गेंहू की फसलों की कटाई और थ्रेसिंग का काम कर रहे हैं, वो अपनी फसलों को खुले में ना छोड़े और अपनी फसलों को बांध कर रखे. इससे फसलों पर बढ़ते तापमान और तेज हवाओं का असर ना पड़े. ऐसा करने से उनकी फसले सुरक्षित रहेंगी.
ज़ायेद की खेती के लिए एडवाइजरी जारी
अगर बात प्रदेश के बहराइच, श्रावस्ती, बलरामपुर, गोंडा, कुशीनगर, सिद्धार्थनगर और महाराजगंज जिलों की करें तो जायेद की खेती करने वाले किसानों के लिए सलाह दी गई है कि वे खेत में खड़ी फसलों में हल्की सिंचाई करें. साथ ही 10 से 12 दिनों के अंतराल पर केवल शाम को ही सिंचाई का काम करें. किसानों को दोपहर में सिंचाई का काम न करने की सलाह दी गई है.
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बाग़वानी करने वाले किसानों के लिए महत्वपूर्ण सूचना
इसके अलावा राज्य के जालौन, झांसी, ललितपुर, महोबा, बांदा और हमीरपुर में बाग़वानी करने वाले किसानों के लिए इस एडवाइजरी में कहा गया है कि इस समय आम के फलों में भृंग(beetle), मीज, लस्सी कीट के प्रकोप की आशंका रहती है. ऐसे में इसकी रोकथाम के लिए नीम के तेल को 3 मिली प्रति लीटर पानी में मिला कर छिड़काव करें. इसके अलावा Imidacloprid 50 EC को 3 मिली प्रति लीटर पानी में घोल कर भी छिड़काव कर सकते हैं.
पशुपालकों के लिए जरूरी एडवाइजरी
इसके साथ ही प्रदेश के बाराबंकी, सुल्तानपुर, अमेठी, फैजाबाद, बस्ती, रायबरेली, अंबेडकरनगर, संत कबीरनगर, गोरखपुर, देवरिया और बलिया के रहने वाले पशुपालकों के लिए जारी एडवाइजरी में कहा गया है कि पशुपालक दिन के समय पशुओं को छायादार जगह या पेड़ की छाया में बांध कर रखे. इस दौरान पशुओं को हरा और सूखा चारे के साथ अनाज की भरपूर मात्रा दें. पशुओं को साफ और ताजा पानी ही पीने को दे, इससे उनके पशु बढ़ती गर्मी में भी सुरक्षित रहेंगे.