धान हो या गेहूं आज के समय में हर एक फसल में कीटनाशक का छिड़काव किया जाता है, लेकिन इसके छिड़काव से कई प्रकार की स्वास्थ्य समस्याएं भी उत्पन्न होती हैं. इसलिए आए दिन कीटनाशकों के छिड़काव पर रोक लगाने की बात चलती रहती है. इसी कड़ी में उत्तर प्रदेश सरकार ने यूपी के 30 जिलों में चुनिंदा 10 कीटनाशकों पर बैन लगाने का फैसला लिया है.
सरकार का कहना है कि इन कीटनाशकों का उपयोग करना बासमती धान उगाने वाले किसानों के हित में नहीं है, इसलिए इन्हें बैन किया जा रहा है. जानकारी के लिए आपको बता दें कि उत्तर प्रदेश सरकार के विशेष सचिव ऋषिरेन्द्र कुमार के द्वारा 30 सितंबर 2022 को इस संबंध में एक अधिसूचना जारी की गई थी. हालांकि बैन होने वाले कीटनाशकों के दूसरे विकल्प भी दे दिए गए हैं लेकिन किसानों के बीच में ये इसे लेकर अभी भी कन्फ्यूजन बनी हुई है.
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इन कीटनाशकों पर लगाया गया है बैन
सरकार ने कुल 10 कीटनाशकों पर बैन लगाया जिसमें ट्राईसाईक्लाजोल, बुप्रोफेजिन, एसीफेट, क्लोरपीरिफॉस, मेथामीडोफास, प्रॉपिकॉनाजोल, थायोमेथाकसाम, प्रोफेनोफास, आइसोप्रोथिओलान, कार्बेंडाजिम शामिल हैं.
यूपी के इन जिलों में लगा है बैन
यूपी के आगरा, अलीगढ़, औरैया, बागपत, बरेली, बिजनौर, बदायूं, बुलंदशहर, एटा, कासगंज, फर्रुखाबाद, फिरोजाबाद, इटावा, गौतम बुध नगर, गाजियाबाद, हापुड़, हाथरस, मथुरा, मैनपुरी, मेरठ, मुरादाबाद, अमरोहा, कन्नौज, मुजफ्फरनगर, शामली, पीलीभीत, रामपुर, सहारनपुर, शाहजहांपुर और संभल जैसे कुल 30 जिलों में बासमती में इन कीटनाशकों के उपयोग पर बैन लगाया गया है.
ये हैं बैन कीटनाशकोंं के विकल्प
सरकार द्वारा कीटनाशकों को बैन करने के बाद किसानों के बीच काफी हलचल का माहौल था, लेकिन अब पुराने कीटनाशकों की जगह कुछ नए कीटनाशकों को जारी कर दिया है ताकि किसानों को किसी भी प्रकार की कोई दिक्कत न हो. वे कीटनाशक कुछ इस प्रकार हैं टेबुकोनाजोल, डाइफेनोकोनाजोल, हेक्साकोनाजोल,इमिडाक्लोप्रिड, बाइफेन्थ्रिन, फिप्रोनिल,इमिडाक्लोप्रिड, एसिटामिप्रिड, फिप्रोनिल,बाइफेन्थ्र,क्लोरोथायोनिल, कारटाप हाइड्रोक्लोराइड, कारटाप हाइड्रोक्लोराइड, क्लोरैन्ट्रानिलिप्रोल, लैम्डासाइहैलोथ्रिन.