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Updated on: 27 July, 2022 4:46 PM IST
White Onion Gets GI Tag

महाराष्ट्र का रायगढ़ जिला पर्यटकों के लिए आकर्षण का प्रमुख केंद्र है. इस जिले में एक ऐसी सफेद प्याज (White Onion) उगाई जाती है जिसकी मार्केट में भारी मांग है और अब इसको GI टैग की मान्यता मिलने वाली है. अपनी मिठास की विशेषता वाले इस प्याज को जीआई टैग (GI Tag) के लिए स्वीकार तो कर ही लिया गया है साथ ही पिछले सप्ताह राजपत्र में भी प्रकाशित किया गया है.

औषधीय गुणों से भरपूर सफेद प्याज 

जीआई टैग से सफेद प्याज को एक विशिष्ट पहचान मिलेगी. ख़ास बात यह है कि इस प्याज में औषधीय गुण (Medicinal Property) होते हैं और इसकी लंबे समय से पारंपरिक तरीके से खेती की जाती है.

बढ़ेगा प्रीमियम मूल्य

अलीबाग सफेद प्याज के लिए जीआई टैग प्राप्त करने की प्रक्रिया में शामिल ग्रेट मिशन ग्रुप कंसल्टेंसी (GMGC) के अध्यक्ष गणेश हिंगमायर ने कहा किइस प्याज से किसानों को सीधे लाभ मिलेगा क्योंकि जीआई टैग के कारण इसपर प्रीमियम मूल्य लग जाएगा.

पारंपरिक तरह से प्याज की खेती

ख़बरों के मुताबिकअलीबाग के किसानों का कहना है कि सफेद प्याज यहां सदियों से केवल पारंपरिक और असली बीजों के साथ उगाए जाते रहे हैं. स्थानीय लोगों ने इसका पीढ़ी दर पीढ़ी ज्ञान प्राप्त कर लिया है और अब सफेद प्याज की खेती में महारत हासिल कर ली है.

प्याज और उसकी मिठास

किसानों का आगे कहना है कि अलीबाग की निर्यात संभावित भू-जलवायु परिस्थितियों ने इसे अन्य सफेद प्याज उत्पादक क्षेत्रों की तुलना में यूनिक बना दिया है और यही कारण है कि अलीबाग सफेद प्याज ने एक अनूठा स्वादमिठास और आकार विकसित किया है.

ऐसे में गणेश हिंगमायर ने कहा कि जीआई टैग से अलीबाग में सफेद प्याज के किसानों को बड़ा निर्यात बाजार हासिल करने में मदद मिलेगी. इन्होंने कहा कि जीआई टैगनिर्यात क्षमता में इजाफा करेगा जैसे घोलवाड़ से चीकू (सपोडिला)मराठवाड़ा से केशर आम और जलगांव में केले जैसे अन्य उत्पादों की मदद की है."

महाराष्ट्र राज्य प्याज उत्पादक किसान संगठन के सदस्यों का कहना है कि सरकार को निर्यात के लिए प्रोत्साहित करना चाहिए ताकि किसानों को पिछले साल की तरह नुकसान न उठाना पड़े. वित्त वर्ष 2012 के दौरान महाराष्ट्र से प्याज का निर्यात 5.8 लाख टन रहाजो वित्त वर्ष 2011 के दौरान 7.9 लाख टन था.

वहींमहाराष्ट्र के प्याज केंद्र नासिक में किसानों और व्यापारियों ने कहा कि घरेलू बाजार में थोक मूल्य निर्यात कीमतों की तुलना में काफी अधिक थे और इसलिएकिसानों ने स्थानीय बाजार में उपज बेचना पसंद किया.

English Summary: Traditionally grown White Onion gets GI Tag, sweet in nature
Published on: 27 July 2022, 04:49 PM IST

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