Success Story: चायवाला से उद्यमी बने अजय स्वामी, मासिक आमदनी 1.5 लाख रुपये तक, पढ़ें सफलता की कहानी ट्रैक्टर खरीदने से पहले किसान इन बातों का रखें ध्यान, नहीं उठाना पड़ेगा नुकसान! ICAR ने विकसित की पूसा गोल्डन चेरी टमाटर-2 की किस्म, 100 क्विंटल तक मिलेगी पैदावार IFFCO नैनो जिंक और नैनो कॉपर को भी केंद्र की मंजूरी, तीन साल के लिए किया अधिसूचित एक घंटे में 5 एकड़ खेत की सिंचाई करेगी यह मशीन, समय और लागत दोनों की होगी बचत Small Business Ideas: कम निवेश में शुरू करें ये 4 टॉप कृषि बिजनेस, हर महीने होगी अच्छी कमाई! ये हैं भारत के 5 सबसे सस्ते और मजबूत प्लाऊ (हल), जो एफिशिएंसी तरीके से मिट्टी बनाते हैं उपजाऊ Goat Farming: बकरी की टॉप 5 उन्नत नस्लें, जिनके पालन से होगा बंपर मुनाफा! Mushroom Farming: मशरूम की खेती में इन बातों का रखें ध्यान, 20 गुना तक बढ़ जाएगा प्रॉफिट! सबसे अधिक दूध देने वाली गाय की नस्ल, जानें पहचान और खासियत
Updated on: 24 January, 2023 5:22 PM IST
UP के किसानों की फसलें मौसमी अपदाओं से नहीं होंगी बर्बाद

हमारे देश की अधिकतर आबादी खेती किसानी पर निर्भर है. किसानों की फसलों को कभी प्राकृतिक आपदाएं तो कभी कीट रोगों के प्रकोप से भारी नुकसान होता है. किसान इसके बचाव और रोकथाम के लिए कई तरह की कीटनाशक दवाईयों का उपयोग करता है लेकिन उसके बावजूद भी किसानों की फसलों की उत्पादकता कम हो जाती है. लेकिन इस समय से निपटने के लिए सरकार ने रियल टाइम मौसम अपडेट की सुविधा शुरू की है. कर्नाटक कृषि विभाग भी फसलों की सुरक्षा के लिए ऐसे ही एक मॉडल पर काम कर रहा है. जिसके तहत किसान आपदा प्रबंधन केंद्रों के जरिए खेती किसानी के लिए रियल टाइम अपडेट सिस्टम अपने ग्राहकों को उपलब्ध कराया है, जिसके जरिए किसानों को पहले ही मौसम बेस्ड अलर्ट मिल जाते हैं.

इस सिस्टम का सबसे बड़ा फायदा यह है कि किसान मौसम अपडेट मिलते ही प्रबंधन कार्यों को समय पर निपटा लेते हैं जिससे किसानों का नुकसान भी काफी हद तक कम हो जाता है. कर्नाटक की इस तकनीक का फायदा उत्तर प्रदेश के किसानों को देने की योजना बनाई जा रही है. यूपी सरकार उत्तर प्रदेश के किसानों को भी ऐसी ही मौसम आधारित अपडेट मुहैया करवाने की पहल कर रही है.

जानकारी के मुताबिक कर्नाटक की तरह अब यूपी की योगी सरकार भी खेती किसानी प्रबंध कार्यों की जानकारी के साथ-साथ रियल टाइम मौसम अपडेट मॉडल उपलब्ध करवाने पर काम कर रही है. इस मॉडल के जरिए प्राकृतिक आपदाओं जैसे आंधी तूफान बाढ़ सूखा और बारिश समेत कई मौसम की हलचलों सूचनाओं से किसान समय से पहले वाकिफ हो पाएंगे. साथ ही किसानों को समय पर खेतों की सिंचाई, कटाई, खाद उर्वरक और कीटनाशकों के छिड़काव और फसलों की निगरानी के लिए अलर्ट जारी किए जाएंगे. जिससे किसान तय समय पर कृषि कार्यों को पूरा करके फसलों की अधिक उत्पादकता हासिल कर सके.

उत्तर प्रदेश सरकार के कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही की अगुवाई वाले दल ने हाल ही में कर्नाटक के आपदा प्रबंधन केंद्र का दौरा किया. जहां मंत्री और उनके दल ने तकनीक और किसान को दी जा रही मौसम आधारित सेवाओं का अवलोकन किया.

जिसके बाद कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने इस मॉडल को उपयोगी बताया और इसे उत्तर प्रदेश में भी लागू करने के निर्देश जारी किए हैं. इस काम के लिए बेंगलुरु में स्थित कर्नाटक राज्य प्राकृतिक आपदा केंद्र के साथ-साथ भारतीय कृषि अनुसंधान संस्थान के विशेषज्ञों से भी चर्चा की गई. 

ये भी पढ़ेेः   सब्जी की फसलों का भी अब होगा बीमा, किसान इस आसान तरीके से कर सकते हैं आवेदन...

उत्तर प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने कर्नाटक का दौरा करने के बाद कर्नाटक राज्य प्राकृतिक आपदा प्रबंधन केंद्र की तर्ज पर ही उत्तर प्रदेश में भी वैसा ही केंद्र स्थापित करने का अधिकारियों को निर्देश दिया.

English Summary: Time Weather Update model in Uttar Pradesh
Published on: 24 January 2023, 05:29 PM IST

कृषि पत्रकारिता के लिए अपना समर्थन दिखाएं..!!

प्रिय पाठक, हमसे जुड़ने के लिए आपका धन्यवाद। कृषि पत्रकारिता को आगे बढ़ाने के लिए आप जैसे पाठक हमारे लिए एक प्रेरणा हैं। हमें कृषि पत्रकारिता को और सशक्त बनाने और ग्रामीण भारत के हर कोने में किसानों और लोगों तक पहुंचने के लिए आपके समर्थन या सहयोग की आवश्यकता है। हमारे भविष्य के लिए आपका हर सहयोग मूल्यवान है।

Donate now