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Updated on: 22 June, 2020 12:40 PM IST

देश के कई हिस्सों में मानसून की बारिश शुरू हो गई है. इस दौरान किसानों ने खरीफ फसलों की खेती के कार्यों को करना शुरू कर दिया है. ऐसे मॆं किसानों को सलाह दी जा रही है कि वह खरीफ फसलों की खेती के साथ-साथ नए फलदार वृक्ष भी लगाएं. अगर किसान ऐसा करते हैं, तो उनकी आमदनी और बेहतर हो पाएगी. इसी कड़ी में बिहार के कृषि मंत्री डॉ. प्रेम कुमार का मानना है कि किसानों की आमदनी बढ़ाने की बागवानी सर्वोच्चय तरीका है. किसान बागवानी की तरफ रूख करें, इसलिए राज्य सरकार द्वारा फलदार वृक्ष लगाने पर सब्सिडी प्रदान की जा रही है.

कृषि मंत्री डॉ. प्रेम कुमार के मुताबिक

इसमें किसान को एक बार कड़ी मेहनत करनी पड़ती है. इसके बाद फलदार वृक्ष की समुचित तरीके से देखभाल करें. इस तरह बहुत किसान कम लागत में अच्छा मुनाफ़ा कमा सकते हैं, वो भी कई वर्षों तक. उनका मानना है कि हर किसान खेती के साथ-साथ बागवानी पर भी ज़रूर ध्यान दें. यह आमदनी के साथ-साथ सुंदरता भी बढ़ती हैं, साथ ही पानी और उर्वरक की मात्रा कम लगती है, जिससे फसल की गुणवत्ता अच्छी प्राप्त होती है.

बगीचा में लगाए सब्जी व मसालों का पौधा

कृषि मंत्री का कहना है कि किसान बगीचों के बीच में सब्जियां और मसालों की खेती भी कर सकते हैं. इससे उन्हें अतिरिक्त आमदनी प्राप्त हो पाएगी. बता दें कि बिहार सरकार फलदार वृक्ष जैसे अनार, आम, अमरुद, लींची,  शरीफा, नींबू, बेर, शहजन, पपीता की खेती पर 50 प्रतिशत सब्सिडी दे रही है. इस तरह फलदार वृक्ष की खेती से एक हेक्टेयर में 5 से 7 लाख रुपए की कमाई की जा सकती है.

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ऐसे करें आवेदन

राज्य के किसान इस योजना का लाभ उठाने के लिए उद्यान विभाग की वेबसाइट horticulture.bihar.gov.in पर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं. बता दें कि अगर किसान एक हेक्टेयर में आम, अमरूद और लीची का बगीचा लगाता है, तो 50 हजार तक की सब्सिडी दी जाएगी. इसके अलावा पपीता के लिए 45 हजार रुपए तक का सब्सिडी दी जा रही है. इतना ही नहीं, पटवन के लिए ड्रीप सिंचाई प्रणाली लगाने पर 90 प्रतिशत सब्सिडी दी जा रही है.

English Summary: Good news, Bihar government is giving 50 percent subsidy on cultivating fruitful trees of farmers
Published on: 22 June 2020, 12:45 PM IST

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