हिन्दू धर्म में गाय को माता के रूप में पूजने की सदियों से मान्यता चली आ रही है. लेकिन हमारे देश में गाय को लेकर हो रहे अत्याचार को रोकने के लिए इलाहाबाद हाई कोर्ट ने एक अहम पहल की है. गायों की हालत को लेकर इलाहाबाद हाई कोर्ट ने केंद्र सरकार को गाय को राष्ट्रीय पशु घोषित करने के लिए सुझाव दिया है. गाय को लेकर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने बड़ी टिप्पणी की है. कोर्ट ने कहा है कि सरकार को गाय को राष्ट्रीय पशु घोषित कर देना चाहिए. केंद्र सरकार को इस पर विचार करने की जरूरत है.
इलाहाबाद हाई कोर्ट ने रखा यह सुझाव (The Allahabad High Court Put This Suggestion)
जावेद नाम के शख्स पर उत्तर प्रदेश में गौ हत्या रोकथाम अधिनियम के तहत अपराध का आरोप था. जिस पर इलाहाबाद हाई कोर्ट ने यह टिप्पणी करते हुए जावेद की जमानत अर्जी खारिज कर दी. जस्टिस शेखर कुमार यादव ने ये फैसला सुनाते हुए कहा कि सरकार को अब सदन में एक बिल लाना चाहिए.
गाय को घोषित किया जाएं राष्ट्रीय पशु (Cow should Be Declared As National Animal)
जस्टिस शेखर कुमार यादव ने ये फैसला सुनाते हुए कहा कि सरकार को अब सदन में एक बिल लाना चाहिए. गाय को राष्ट्रीय पशु घोषित करने के लिए संसद में बिल लाना चाहिए. वहीं जो भी गाय को नुकसान पहुंचाने का प्रयास करते हैं, उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए.
आरोपी जावेद (Accused Javed) ने क्या किया था
जावेद नाम के शख्स ने एक किसान की गाय को चुराया था. उसके बाद उसने इस गाय की हत्या कर दी. जिस पर ग्रामीण लोगों ने इसकी शिकायत दर्ज की. जावेद पर उत्तर प्रदेश में गो हत्या रोकथाम अधिनियम के तहत अपराध का आरोप है.
हाईकोर्ट ने कही गाय को लेकर बड़ी बातें (High Court Said Big Things About Cow)
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गोमांस खाने किसी का मौलिक अधिकार नहीं है.
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गाय बूढ़ी और बीमार होने पर भी उपयोगी है. उसका गोबर और मूत्र असाध्य रोगों में लाभकारी है.
पूरी दुनिया में भारत ही एक ऐसा देश है, जहां अलग-अलग धर्मों के लोग रहते हैं, जो अलग-अलग तरह से पूजा करते हैं, लेकिन उनकी सोच एक ही है. सभी एक- दूसरे के धर्म का आदर करते हैं.
गौमांस खाना किसी का मौलिक अधिकार नहीं हैं. जीभ के स्वाद के लिए जीवन का अधिकार नहीं छीना जा सकता.
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