कृषि को लेकर किसानों का आंदोलन चल रहा है और देश में किसानों से जुड़े मुद्दों पर राजनीति भी गर्म है. हर कोई राजनेता किसानों के पक्ष की और हितों की बाते करते रहते है मगर पिछले 6 साल के दौरान बजट की राशि का कृषि विकास पर खर्च करने के मामले कई राज्य बहुत पीछे है. राजस्थान देश के अंतिम 6 राज्यों में शामिल है जबकि कृषि पर बजट की सबसे अधिक राशि छत्तीसगढ़ ने खर्च की है.
पीआरएस लेजिस्लेटिव रिसर्च ने जारी की रिपोर्ट (PRS Legislative Research released report)
राज्यों की ओर से 2015-16 से लेकर 2020-21 के बीच बजट राशि के खर्च को लेकर PRS लेजिस्लेटिव रिसर्च (PRS Legislative Research) ने हाल में ही देश के 30 राज्यों को लेकर रिपोर्ट जारी की है. जिसमें कृषि शिक्षा, स्वास्थ्य, सड़क, ग्रामीण विकास समेत कई क्षेत्रों में बजट क्षेत्र को लेकर विभिन्न राज्यों के बीच तुलना की गई है. इन खर्च में संबंधित क्षेत्र के राजस्व (Revenue) और पूंजी खर्च को शामिल किया गया है.
बजट खर्च को लेकर आई इस रिपोर्ट में बताया गया है कि कृषि क्षेत्र में बजट का सबसे कम खर्च दिल्ली ने किया है क्योंकि दिल्ली का अधिकांश इलाका शहरी है. मगर बिहार, उत्तर प्रदेश और पश्चिमी बंगाल तो आखिरी पांच राज्यों में शामिल है. इसके साथ राजस्थान भी अंतिम 6 राज्यों में शामिल है. जबकि आदिवासी बाहुल्य राज्य छत्तीसगढ़ पहले और पंजाब दूसरे नंबर पर है.
कृषि बजट के खर्च में ये है शामिल (This is included in the expenditure of agricultural budget)
बजट खर्च में कृषि, कृषि विपणन, हॉर्टिकल्चर व कृषि ऋण, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना और राष्ट्रीय कृषि विकास जैसी योजनाओं के खर्च को भी शामिल किया गया है.
आखिरी 6 राज्यों में कृषि बजट पर खर्च की स्थिति (Status of spending on agriculture budget in last 6 states)
सबसे अंतिम स्थान पर दिल्ली राज्य है जिसने अपने बजट का 0.4% खर्च कृषि पर किया है उसके बाद गोवा 3%, बिहार 3.1%, प॰ बंगाल 3.7%, यूपी 4% तथा राजस्थान 4.5% कृषि विकास पर खर्च करने वाले फिसड्डी राज्य है.
दूसरी तरफ अपने बजट का 18.1% खर्च छतीसगढ़ ने किया है उसके बाद पंजाब का नंबर आता है जिसने 12.1% खर्च कर दूसरे स्थान प्राप्त किया है.