PM-KISAN: पीएम मोदी ने जारी की 20वीं किस्त, 9.7 करोड़ किसानों को मिले ₹20,500 करोड़ - ऐसे करें अपना स्टेटस चेक Success Story: गेंदा फूल की जैविक खेती से किसान कमा रहा लाखों, सालाना आमदनी 30 लाख रुपये से ज्यादा! 8 अगस्त तक दिल्ली, यूपी और राजस्थान समेत इन राज्यों में होगी भारी बारिश, मौसम विभाग ने जारी की चेतावनी किसानों को बड़ी राहत! अब ड्रिप और मिनी स्प्रिंकलर सिस्टम पर मिलेगी 80% सब्सिडी, ऐसे उठाएं योजना का लाभ जायटॉनिक नीम: फसलों में कीट नियंत्रण का एक प्राकृतिक और टिकाऊ समाधान फसलों की नींव मजबूत करती है ग्रीष्मकालीन जुताई , जानिए कैसे? Student Credit Card Yojana 2025: इन छात्रों को मिलेगा 4 लाख रुपये तक का एजुकेशन लोन, ऐसे करें आवेदन Pusa Corn Varieties: कम समय में तैयार हो जाती हैं मक्का की ये पांच किस्में, मिलती है प्रति हेक्टेयर 126.6 क्विंटल तक पैदावार! Watermelon: तरबूज खरीदते समय अपनाएं ये देसी ट्रिक, तुरंत जान जाएंगे फल अंदर से मीठा और लाल है या नहीं Paddy Variety: धान की इस उन्नत किस्म ने जीता किसानों का भरोसा, सिर्फ 110 दिन में हो जाती है तैयार, उपज क्षमता प्रति एकड़ 32 क्विंटल तक
Updated on: 3 September, 2019 4:43 PM IST

आपने हमेशा से ही गुजरात के गिर के शेरों की चर्चा तो खूब सुनी होगी लेकिन आज हम आपको वहीं की गाय के बारे में बता रहे है जो कि काफी कम लोगों के पास में है. गिर की गायें की खासियत यह है कि यहा कि गाय आम गायों के मुकाबले दुगना दूध देती है. गिर की गाय एक बार बच्चे को जन्म देने के बाद अधिकतम 5 हजार लीटर दूध दे सकती है. जबकि सामान्य गाय अधिकतम 2 हजार लीटर दूध ही दे सकती है. इसलिए केंद्र सरकार ने फैसला लिया है कि वह इस नस्ल को तेजी से बढ़ावा देने के लिए ब्राजील से गिर नस्ल के सांडो का वीर्य मंगवा रही है. खबरों के अनुसार केंद्र की मोदी सरकार ब्राजील से देसी सांडों के 1 लाख सीमन का डोज मंगवा रही है.

कौन है गिर की गाय

गिर जेबू प्रजाति की प्रमुख गाय है. यह गिर नस्ल गुजरात के सौराष्ट्र और गिर के जंगलों में पाई जाती है. हाल ही के कुछ सालों में देश के अंदर देसी गायों की नस्लों में कमी देखने को मिली है. इस पर पशु विज्ञानियों समेत केंद्र सरकार ने भी चिंता व्यक्त की थी. अब केंद्र की मोदी सरकार ने इस समस्या के निराकरण करने के लिए ब्राजील का सहारा लेने वाली है. इस पर केंद्रीय पशुपलान राज्य मंत्री संजीव बलायन ने कहा है कि अगले डेढ़ महीने के अंदर यह गिर सांडो के वीर्य को जल्द मंगवाया जाएगा ताकि देसी गायों के नस्ल को तेजी से संरक्षण दिया जा सकें.

ब्राजील को तोहफे में दी थी गायें

बता दें कि 18वीं शताब्दी में भावनगर के महाराजा ने गिर की नस्ल गाय को ब्राजील को तोहफे में दे दी थी. ब्राजील ने भारत के देसी नस्ल की इन सारी गायों को संरक्षित कर दिया था. यह प्रजाति काफी तेजी से वहां पर बढ़ी है. बाद में यह गिर की गायें अमेरिका में भी काफी लोकप्रिय हो गई. इन गायों ने अपने आप को वहां के वातावरण के अनुसार ढाल लिया है. बाद में यह सबसे ज्यादा दूध देने लगी. जबकि भारत में देसी गायों की संख्या में लगातार कमी आई है. यहां के किसानों ने पिछले कुछ सालों में जर्सी गायों को तरहीज दी जो कि स्थानीय गायों के मुकाबले ज्यादा दूध देती है.

English Summary: Central government will increase population of Gir cows, Seaman will come from Brazil
Published on: 03 September 2019, 04:48 PM IST

कृषि पत्रकारिता के लिए अपना समर्थन दिखाएं..!!

प्रिय पाठक, हमसे जुड़ने के लिए आपका धन्यवाद। कृषि पत्रकारिता को आगे बढ़ाने के लिए आप जैसे पाठक हमारे लिए एक प्रेरणा हैं। हमें कृषि पत्रकारिता को और सशक्त बनाने और ग्रामीण भारत के हर कोने में किसानों और लोगों तक पहुंचने के लिए आपके समर्थन या सहयोग की आवश्यकता है। हमारे भविष्य के लिए आपका हर सहयोग मूल्यवान है।

Donate now