देश की राजधानी दिल्ली में भारी बारिश के कारण जलजमाव की स्थिति उत्पन्न हो गई है. कई इलाकों में यातायात व लोगों का जीवन बड़े पैमान पर प्रभावित हुआ है. वहीं, जल जमाव की वजह से दिल्ली में डेंगू के मामले भी तेजी से बढ़ रहे हैं. डॉक्टर सोनाली ने इस बीमारी को लेकर कुछ जरूरी सुझाव दिए हैं. तो आइए जानें डेंगू के प्रमुख लक्षण व क्या हैं बचाव के उपाय.
बुखार का लक्षण
डेंगू बुखार एक मच्छर के संक्रमण से होता है. बरसात में यह बीमारी आम होती है. कई मामलों में डेंगू से मौत भी हो जाती है. इसलिए, इस बीमारी को नजरअंदाज करना खतरनाक साबित हो सकता है. डेंगू बुखार आम तौर पर अचानक तेज बुखार के साथ शुरू होता है, जो अक्सर 104°F (40°C) या इससे अधिक तक पहुंच जाता है. बुखार में आमतौर पर ठंड और गंभीर सिरदर्द का सामना करना पड़ता है.
आंखों में दर्द
डेंगू के दौरान आंखों के पीछे भी दर्द बढ़ सकता है. इस लक्षण को आमतौर पर रेट्रो-ऑर्बिटल दर्द के रूप में जाना जाता है.
मांसपेशियों और जोड़ों में दर्द
डेंगू बुखार अक्सर मांसपेशियों और जोड़ों में गंभीर दर्द का कारण बनता है. इसे कभी-कभी 'हड्डी तोड़ बुखार' भी कहा जाता है. दर्द कभी-कभी ज्यादा तेज हो जाता है. डॉक्टर सोनाली बताती हैं कि डेंगू के दौरान पीठ के निचले हिस्से और जोड़ों में लोगों को गंभीर दर्द का सामना करना पड़ सकता है.
डेंगू में दाने का लक्षण
डेंगू से पीड़ित कई लोगों को दाने हो जाते हैं. जो आमतौर पर बुखार शुरू होने के कुछ दिनों बाद दिखाई देते हैं. दाने आमतौर पर लाल होते हैं. यह अक्सर हाथ-पैर से शुरू होते हैं और धीरे-धीरे पूरे शरीर में फैल जाते हैं.
थकान और कमजोरी
डेंगू बुखार अत्यधिक थकान और कमजोरी का कारण बन सकता है. जिससे दैनिक गतिविधियों को करना मुश्किल हो जाता है. वहीं, डेंगू से पीड़ित कुछ व्यक्तियों को उल्टी और भूख में कमी का अनुभव होता है.
हल्का रक्तस्राव
कुछ मामलों में, डेंगू बुखार के कारण हल्का रक्तस्राव हो सकता है. जैसे कि नाक से खून आना, मसूड़ों से खून आना या आसानी से चोट लगना. डेंगू में पेट दर्द, लगातार उल्टी, मसूड़ों या नाक से खून आना, सांस लेने में कठिनाई और ब्लडप्रेशर में तेजी से गिरावट जैसे लक्षण आम होते हैं. अगर आपको इनमें से कोई लक्षण अपने अंदर महसूस हो रहे हैं तो उचित निदान और प्रबंधन के लिए बिना देर किए आपको डॉक्टर के पास जाना चाहिए.
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ऐसे करें बचाव
डेंगू मच्छर (एडीज मच्छर) जमे हुए पानी में पनपते हैं. ऐसे में नियमित रूप से अपने आस-पास का निरीक्षण करें. प्लास्टिक के बर्तन, फेंके गए कंटेनर, बाल्टी और टायर जैसे किसी भी चीज को पानी से हटाएं. मच्छरों के अंडों को फूटने से रोकने के लिए जिस कंटेनरों में पानी भरते हैं, उन्हें साफ रखना जरूरी है.
मच्छर निरोधकों का उपयोग करें
अपनी त्वचा और कपड़ों पर मच्छर भगाने वाली क्रीम का उपयोग करें. दिन के समय भी यह मच्छर सबसे अधिक सक्रिय होते हैं, तब ही क्रीम का इस्तेमाल करें.
सुरक्षात्मक कपड़े पहनें
लंबी बाजू वाली शर्ट, लंबी पैंट, मोजे और जूते पहनकर अपनी त्वचा को जितना संभव हो सके ढकें. हल्के रंग के कपड़े मच्छरों के लिए कम आकर्षक हो सकते हैं.
खिड़की और दरवाजों पर स्क्रीन लगाएं
मच्छरों को आपके रहने की जगह में प्रवेश करने से रोकने के लिए खिड़कियों और दरवाजों पर ठीक से स्क्रीन लगाएं. डेंगू मच्छर सुबह और देर दोपहर के दौरान सबसे अधिक सक्रिय होते हैं. यदि संभव हो, तो इस समय के दौरान बाहरी गतिविधियों को सीमित करें या मच्छरों के काटने से बचने के लिए अतिरिक्त सावधानी बरतें.
यात्रा पर रहें सावधान
यदि आप डेंगू वाले क्षेत्र में जा रहे हैं, तो मच्छरों के काटने से बचने के लिए अतिरिक्त सावधानी बरतें. कीटनाशकों से लेस मच्छरदानी का उपयोग करें, स्क्रीन वाली खिड़कियों वाले आवास में रहें. इसके अलावा, रूम में एयर कंडीशनिंग का उपयोग करें.
निष्कर्ष- यह स्टोरी पूरी तरह से डेंगू पर आधारित है. जिसे डॉक्टर की सलाह से बनाई गई है. हालांकि, इसपर अलग-अलग डॉक्टरों के विभिन्न विचार हो सकते हैं. इसलिए डेंगू का कोई लक्षण दिखने पर तुरंत अपने आसपास के किसी डॉक्टर से संपर्क करें.