Strawberry Plant Tips: स्ट्रॉबेरी की खेती में कैल्शियम और बोरॉन की कमी पौधों के विकास और फल उत्पादन पर नकारात्मक प्रभाव डाल सकती है. कैल्शियम और बोरॉन एक आवश्यक सूक्ष्म पोषक तत्व है, जो कोशिका भित्ति निर्माण, शर्करा परिवहन और पराग अंकुरण सहित विभिन्न शारीरिक प्रक्रियाओं में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है. अगर स्ट्रॉबेरी की पत्तियां ऊपर की ओर मुड़ रही हैं, तो यह संकेत हो सकता है कि पौधों को कैल्शियम और बोरॉन की पर्याप्त मात्रा नहीं मिल रही है.
आइये कृषि जागरण के इस आर्टिकल में जानें स्ट्रॉबेरी के पौधे में कैल्शियम और बोरॉन की कमी होने के के कारण, लक्षण और समाधान.
कैल्शियम की कमी
कैल्शियम पौधों में कोशिका भित्ति निर्माण के लिए जरूरी है. इसकी कमी के लक्षणों में पत्तियों का सिकुड़ना और ऊपर की ओर मुड़ना शामिल है. यह समस्या अक्सर मिट्टी में कैल्शियम की कमी के बजाय अनियमित पानी देने के कारण होती है.
समाधान:
- समान सिंचाई: ड्रिप सिंचाई पद्धति अपनाएं, जिससे जड़ों को सीधे पानी और पोषक तत्व मिलें.
- मिट्टी का परीक्षण: मिट्टी में पोषक तत्वों का आकलन करें और आवश्यकतानुसार कैल्शियम युक्त उर्वरक डालें.
बोरॉन की कमी
बोरॉन की कमी से पत्तियां सिकुड़ने, विकृत होने और ऊपर की ओर मुड़ने लगती हैं. यह कमी फलों को भी प्रभावित करती है, जिससे उनका आकार और गुणवत्ता खराब हो जाती है.
समाधान:
- बोरॉन युक्त स्प्रे: बोरोन का छिड़काव करें, लेकिन केवल अनुशंसित मात्रा का पालन करें.
- मिट्टी का संशोधन: बोरेक्स या बोरिक एसिड का उपयोग करें, लेकिन सावधानी बरतें, क्योंकि अत्यधिक बोरॉन विषाक्त हो सकता है.
कैल्शियम और बोरॉन की कमी से बचने के उपाय
- सिंचाई प्रबंधन: पौधों को नियमित और समान रूप से पानी दें. अधिक सिंचाई से पोषक तत्व जड़ क्षेत्र से बाहर निकल सकते हैं.
- मल्चिंग: मिट्टी की नमी बनाए रखने और तापमान नियंत्रित करने के लिए मल्चिंग करें.
- मिट्टी का पीएच संतुलन: मिट्टी का पीएच स्तर 6-7 के बीच बनाए रखें. अम्लीय या क्षारीय मिट्टी में पोषक तत्वों की उपलब्धता कम हो सकती है.
- जैविक समाधान: लाभकारी माइक्रोब्स के उपयोग से पौधों की पोषक तत्व अवशोषण क्षमता बढ़ाई जा सकती है.
फसल चक्र और परीक्षण की भूमिका
फसल चक्रण से मिट्टी की पोषक तत्व प्रोफ़ाइल संतुलित रहती है. नियमित मृदा परीक्षण से इन कमियों की पहचान और प्रबंधन में मदद मिलती है. स्ट्रॉबेरी के पौधों को स्वस्थ बनाए रखने और अच्छा फल उत्पादन प्राप्त करने के लिए समय पर इन उपायों को किया जा सकता है, जिससे पौधे में कैल्शियम और बोरॉन की कमी नहीं हो सकें.