भारत में खेती- किसानी वर्षों से चली आ रही है. किसानों के लिए खेती उनकी आय का स्त्रोत व जीवनचर्या है. खेती को बढ़ावा देने के लिए सरकार भी कदम उठा रही है और किसान भी अब एक-दूसरें के साथ जुड़कर आगे आ रहे हैं. इसमें मुख्य भूमिका निभा रहे हैं- फार्मर्स प्रोड्यूसर ऑर्गेनाइजेशन (FPO), जिनसे जुड़कर किसान अपनी समस्याओं का समाधान पा रहे हैं. इसी कड़ी में हम इस लेख के माध्यम से महिपाल जो कि एक सफल किसान हैं, उनकी कहानी साझा करने जा रहे हैं. जिन्होंने नीलोखेड़ी फार्मर्स प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड से जुड़कर खेती में सफलता प्राप्त की है.
टखाना करनाल के रहने वाले महिपाल खेती करते हैं, उनकी बचपन से ही खेती में रूचि रही है. आखिर हो भी क्यों ना, पीढ़ी दर पीढ़ी उनके परिवार के सदस्य खेती करते आ रहे है. महिपाल बताते हैं कि जब से उन्होंने होश संभाला है, वह तब से ही परिवार के साथ खेती में हाथ बंटाते आए हैं. अब महिपाल के पास 10 एकड़ जमीन है. जिसमें वह भिंडी, टमाटर,करेला, लौकी, गोभी,धान, गेहूं, सरसों आदि की खेती करते हैं. महिपाल खाद के तौर पर जैविक खाद का इस्तेमाल करते हैं, हालांकि वह पूर्ण रूप से जैविक खेती तो नहीं अपना रहे हैं, लेकिन जरूरत पड़ने पर बेहद ही कम मात्रा में रासायनिक खाद का उपयोग करते हैं.
पहली बार उगाया प्याज
महिपाल ने कृषि जागरण से खास बातचीत में बताया कि,वह पहली बार मल्चिंग और ड्रिप इरिगेशन विधि की सहायता से प्याज की खेती कर रहे हैं और उन्हें काफी अच्छे परिणाम भी मिल रहे हैं. उनका कहना है कि ड्रिप विधि से खेती करने पर तीन गुना मुनाफा होता है.
नीलोखेड़ी फार्मर्स प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड से मिल रही मदद
महिपाल बताते हैं कि नीलोखेड़ी फार्मर्स प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड (FPO) से जुड़ने के बाद उन्हें काफी मदद मिली है.सरकार द्वारा दी जा रही सब्सिडी आसानी से प्राप्त हो जाती है. इसके अलावा उन्हें एफपीओ से प्रति वर्ष 1000 रुपए की जैविक खाद, दवाएं व बीज मिल जाते हैं. कंबाइन हार्वेस्टर मशीन, ट्रैक्टर, सुपर सीडर आदि मशीनें बेहद ही कम दामों पर खेती के लिए मिल जाती हैं.
नीलोखेड़ी एफपीओ की सहायता से एक्सोपोजर शिविर के माध्यम से विभिन्न विश्वविद्यालय, कृषि महाविद्यालय तथा कृषि से संबंधित संस्थानों में प्रशिक्षण के लिए किसानों को ले लाया जाता है. जिससे उन्हे नई तकनीक व फसलों के बारे में जानकारी मिलती है.
महिपाल ने कहा कि भविष्य में खेती के लिए वह सौर ऊर्जा प्लांट लगवाना चाहते हैं, ताकि उन्हें खेती में आसानी हो. महिपाल बताते हैं कि वह एफपीओ से जुड़ने से पहले एक सीजन से 40 से 50 हजार रुपए की कमाई करते थे. लेकन वह एक सीजन में लगभग 2 से 3 लाख रुपए की कमाई कर लेते हैं.
नीलोखेड़ी फार्मर्स प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड-
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नीलोखेड़ी फार्मर्स प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड एक एफ.पी.ओ. हैं, जो किसानों के हित में कार्य कर रहा हैं.
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इस एफ.पी.ओ. से जुड़े किसान आलू, प्याज, मटर, लहसुन आदि सब्जियों से संबंधित कृषि के साथ ही, बीज उत्पादन का कार्य भी कर रहें है.
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वर्तमान में नीलोखेड़ी एफ.पी.ओ. के साथ 610 किसान जुड़े हुए हैं.
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इस एफ.पी.ओ. का पंजीकृत पता एच नं-22 रंबा, करनाल, हरियाणा है.
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इसके संचालक डॉ. सरदार सिंह हैं. इस एफ.पी.ओ. से संबंधित अधिक जानकारी प्राप्त करने के लिए किसान भाई मोबाइल नंबर-9588581421 पर संपर्क कर सकते हैं.