उत्तर प्रदेश सरकार दिवाली के मौके पर किसानों के लिए बड़ी खुशखबरी लेकर आई है, जिससे किसान भाइयों को काफी लाभ मिलेगा. दरअसल, कृषि विभाग ने घोषणा की है कि राज्य के पात्र किसानों को आधुनिक खेती के यंत्रों जैसे ड्रोन, ट्रैक्टर-माउंटेड उपकरण, हाई-टेक हब मशीनें, फार्म मशीनरी बैंक और फसल अवशेष प्रबंधन यंत्रों पर सब्सिडी प्रदान की जाएगी.
सरकार का उद्देश्य किसानों को अत्याधुनिक कृषि सुविधाएं उपलब्ध कराना है, ताकि वे कम मेहनत और लागत में अधिक उत्पादन कर सकें.
किन यंत्रों पर मिलेगी सब्सिडी?
सरकार ने इस योजना में कई प्रकार के कृषि यंत्रों को शामिल किया है, जिनमें मुख्यतः निम्नलिखित शामिल हैं:
1. कृषि ड्रोन (Agricultural Drones)
कृषि ड्रोन का उपयोग अब किसान बड़ी संख्या में कर रहे हैं. इनकी मदद से कीटनाशक और उर्वरकों का छिड़काव आसान हो गया है, जिससे समय और लागत दोनों की बचत होती है.
2. फसल अवशेष प्रबंधन उपकरण (Crop Residue Management Equipment)
पराली जलाने से होने वाले प्रदूषण की समस्या को देखते हुए यह उपकरण किसानों के लिए बेहद उपयोगी है. इससे अवशेषों का निपटारा पर्यावरण के अनुकूल तरीके से किया जा सकता है.
3.कस्टम हायरिंग सेंटर मशीनें (Custom Hiring Centre Machines)
ये मशीनें उन किसानों के लिए उपयोगी हैं जो समूह में मिलकर महंगे उपकरण साझा करना चाहते हैं. इससे संसाधनों की बेहतर उपयोगिता सुनिश्चित होती है.
4. फार्म मशीनरी बैंक (Farm Machinery Bank)
यह बैंक किसानों को कम दरों पर कृषि उपकरण किराए पर उपलब्ध कराता है, विशेषकर उन क्षेत्रों में जहां संसाधनों की कमी है या बिजली की समस्या है.
5.हाई-टेक हब उपकरण (Hi-Tech Hub Equipment)
"हाई-टेक हब" एक ऐसा केंद्र है जहां किसान ड्रोन, कंबाइन हार्वेस्टर, न्यूमैटिक प्लांटर, लेजर लैंड लेवलर जैसे उन्नत यंत्र किराए पर लेकर आधुनिक खेती कर सकते हैं.
आवेदन की ज़रूरी तारीखें
जो किसान इस योजना का लाभ लेना चाहते हैं, वे 15 अक्टूबर से 29 अक्टूबर 2025 तक ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं. पूरी प्रक्रिया डिजिटल मोड में की जा रही है ताकि किसानों को किसी तरह की परेशानी न हो.
आवेदन प्रक्रिया
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किसान को सबसे पहले www.agridarshan.up.gov.in वेबसाइट पर जाना होगा.
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होमपेज पर 'किसान कॉर्नर सेक्शन' में जाएं और “यंत्र बुकिंग प्रारंभ करें” पर क्लिक करें.
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फिर Start Equipment Booking विकल्प चुनें.
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अब अपनी सभी आवश्यक जानकारी भरें — जैसे नाम, आधार, बैंक विवरण और भूमि से संबंधित जानकारी.
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जिस उपकरण की आवश्यकता है, उसका चयन करें और ऑनलाइन बुकिंग प्रक्रिया को पूरा करें.
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आवेदन के बाद एक पंजीकरण संख्या प्राप्त होगी, जिससे किसान अपने आवेदन की स्थिति को ट्रैक कर सकेंगे.