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Updated on: 12 May, 2025 3:49 PM IST
केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण व ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान

केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण व ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने देश के कृषि क्षेत्र की प्रगति के संबंध में आज कृषि भवन, नई दिल्ली में समीक्षा बैठक की और वरिष्ठ अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए. इस दौरान शिवराज सिंह ने किसानों से चना, मसूर, उड़द एवं अरहर की खरीद के संबंध में निर्देश देने के साथ ही अधिकारियों से कहा कि ऐसी व्यवस्था की जाना चाहिए, जिससे कि किसानों को उनकी उपज खरीद का भुगतान होने में देरी नहीं हो, वहीं यह भी बताया गया कि देश में चावल और गेहूं का वास्तविक स्टॉक बफर मानक के मुकाबले काफी ज्यादा है.

समीक्षा बैठक में, केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह ने इस बात पर संतोष के साथ ही प्रसन्नता व्यक्त की कि चावल-गेहूं का वास्तविक स्टॉक, बफर मानक के मुकाबले ज़्यादा है. चावल का वास्तविक स्टॉक 135.80 एल.एम.टी. के बफर मानक के मुकाबले 389.05 एल.एम.टी है. गेहूं का वास्तविक स्टॉक 74.60 एल.एम.टी. के बफर मानक के मुकाबले 177.08 एल.एम.टी. है. इस प्रकार, चावल व गेहूं का वास्तविक स्टॉक 210.40 एल.एम.टी. के बफर मानक के मुकाबले 566.13 एल.एम.टी. है. गेहूं के लिए प्रमुख राज्य उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, पंजाब, हरियाणा, राजस्थान व बिहार हैं. कटाई की स्थिति 2 मई 2025 तक इस प्रकार है: म.प्र. 100%, उ.प्र. 94%, राजस्थान 100%, गुजरात 100%, हरियाणा 100%, पंजाब 97% एवं बिहार 96% गेहूं की कटाई पहले ही हो चुकी है. सभी राज्यों में फसल लगभग परिपक्वता चरण पार कर चुकी है, इसलिए लू या उच्च तापमान, यदि कोई हो, तो कटाई की प्रक्रिया को तेज़ कर देगा. इस प्रकार, दूसरे अग्रिम अनुमान ओलावृष्टि/लू की हालिया घटनाओं से प्रभावित होने की संभावना नहीं है.

बैठक में शिवराज सिंह चौहान ने चना, मसूर, उड़द व अरहर की खरीद के संबंध में अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश देते हुए इस संबंध में राज्यों को विशेष जोर देने को कहा, ताकि किसानों को अधिक से अधिक लाभ मिल सके. चौहान ने एमएसपी पर खरीद व किसानों को होने वाले भुगतान के बीच के समय अंतराल को और कम करने की बात कहते हुए निर्देशित किया कि उपज खरीद के बाद किसानों को जल्द से जल्द भुगतान हो सके, इसके लिए ओर सुदृढ़ व्यवस्था होनी चाहिए.

केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह को बैठक में आला अधिकारियों ने बताया कि धान, दलहन, श्री अन्न-मोटे अनाज व तिलहन की उपज में प्रगति हुई है. ग्रीष्मकालीन बुआई के मौसम में 2 मई तक धान की बुआई में पिछले वर्ष की तुलना में 3.44 लाख हेक्टेयर की वृद्धि हुई है. धान की बुआई वर्ष 2023-24 के 28.57 लाख हेक्टेयर से बढ़कर वर्ष 2024-25 में 32.02 लाख हेक्टेयर हो गई है, वहीं दलहन की बुआई में भी 2.20 लाख हेक्टेयर की वृद्धि हुई है. दलहन की बुआई वर्ष 2023-24 के 18.47 लाख हेक्टेयर की तुलना में वर्ष 2024-25 में 20.67 हो गई है. मूंग व उड़द के रकबे में भी 2 मई 2025 तक क्रमशः 1.70 लाख हेक्टेयर और 0.50 लाख हेक्टेयर की वृद्धि हुई है.

अधिकारियों ने केंद्रीय मंत्री को रबी मौसम के लिए प्रमुख उत्पादक राज्यों में प्याज, आलू और टमाटर की बुआई की स्थिति की भी जानकारी दी. इसमें बताया गया कि 2023-24 की तुलना में 2024-25 में प्याज व आलू की बुआई में वृद्धि हुई है. प्याज की बुआई में 2.82 लाख हेक्टेयर की वृद्धि हुई है, जो 2023-24 के 9.76 लाख हेक्टेयर से बढ़कर 2024-25 में 12.58 लाख हेक्टेयर हो गई है, वहीं आलू के बुआई क्षेत्रफल में भी 0.47 लाख हेक्टेयर की बढ़ोतरी दर्ज की गई है. आलू बुआई का क्षेत्रफल समान अवधि में 19.56 से बढ़कर 20.03 हो गया है. बैठक में बताया गया कि चालू सीजन में टमाटर और प्याज की बुआई सुचारू रूप से चल रही है. तीनों फसलों के लिए बुआई का समय अभी भी उपलब्ध है. मौजूदा अच्छी बाजार कीमतों को देखते हुए सामान्य क्षेत्र हासिल करने की उम्मीद है.

बैठक में बताया गया कि देश में मौसम तथा जलाशयों की स्थिति बेहतर है. पिछले वर्ष की तुलना में कुल जल संग्रहण की स्थिति अच्छी है. 161 जलाशयों में उपलब्ध संग्रहण पिछले वर्ष की इसी अवधि के संग्रहण का 117% और पिछले दस वर्षों के औसत संग्रहण का 114% है. बैठक में केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण सचिव देवेश चतुर्वेदी, अतिरिक्त सचिव मनिंदर कौर द्विवेदी तथा केंद्रीय कृषि आयुक्त पी.के. सिंह सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे.

English Summary: Union Agriculture Minister Shivraj Singh Chouhan says actual stock of rice and wheat country is higher buffer standard
Published on: 12 May 2025, 03:54 PM IST

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