Papaya Farming: पपीते की खेती से होगी प्रति एकड़ 12 लाख रुपये तक कमाई! जानिए पूरी विधि सोलर पंप संयंत्र पर राज्य सरकार दे रही 60% अनुदान, जानिए योजना के लाभ और आवेदन प्रक्रिया केवल 80 से 85 दिनों में तैयार होने वाला Yodha Plus बाजरा हाइब्रिड: किसानों के लिए अधिक उत्पादन का भरोसेमंद विकल्प किसानों को बड़ी राहत! अब ड्रिप और मिनी स्प्रिंकलर सिस्टम पर मिलेगी 80% सब्सिडी, ऐसे उठाएं योजना का लाभ GFBN Story: मधुमक्खी पालन से ‘शहदवाले’ कर रहे हैं सालाना 2.5 करोड़ रुपये का कारोबार, जानिए उनकी सफलता की कहानी फसलों की नींव मजबूत करती है ग्रीष्मकालीन जुताई , जानिए कैसे? Student Credit Card Yojana 2025: इन छात्रों को मिलेगा 4 लाख रुपये तक का एजुकेशन लोन, ऐसे करें आवेदन Pusa Corn Varieties: कम समय में तैयार हो जाती हैं मक्का की ये पांच किस्में, मिलती है प्रति हेक्टेयर 126.6 क्विंटल तक पैदावार! Watermelon: तरबूज खरीदते समय अपनाएं ये देसी ट्रिक, तुरंत जान जाएंगे फल अंदर से मीठा और लाल है या नहीं Paddy Variety: धान की इस उन्नत किस्म ने जीता किसानों का भरोसा, सिर्फ 110 दिन में हो जाती है तैयार, उपज क्षमता प्रति एकड़ 32 क्विंटल तक
Updated on: 16 October, 2021 11:44 AM IST
Maharashtra Farmers

देश के अलग-अलग राज्यों में हो रही भारी बारिश की वजह से किसानों को काफी नुकसान हुआ है. ऐसे में राज्य सरकारों ने अपनी भूमिका अदा करते हुए किसानों के तरफ मदद का हाथ बढ़ाया है.

इसी क्रम में महाराष्ट्र सरकार ने उन किसानों के सहायता हेतु 10 हजार करोड़ देने की घोषणा किया है, जिनकी फसल प्रदेश में भारी बारिश के कारण बर्बाद हो गई थी. राज्य के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, उप मुख्यमंत्री अजीत पवार और लोकनिर्माण विभाग के मंत्री अशोक चव्हाण ने बैठक के बाद यह निर्णय लिया की किसानों को सरकार के तरफ से आर्थिक मदद दी जाएगी. जिसके बाद सरकार और मंत्रिमंडल ने इस बात की घोषणा की.

सरकार दे रही है किसानों को आर्थिक सहायता

उद्धव सरकार ने कहा,  आकड़ों के मुताबिक इस साल जून से अक्टूबर के बीच हुई भारी बारिश के कारण 55 लाख हेक्टेयर भूमि पर फसल को नुकसान पहुंचा है. किसानों को कुछ राहत पहुंचाने के लिये प्रदेश सरकार ने प्रभावित किसानों को 10 हजार करोड़ रुपये की आर्थिक सहायता देने का फैसला किया है. इसमें कहा गया कि भारी बारिश के कारण जिन किसानों की फसलों का नुकसान हुआ उन्हें मुआवजा दिया जाएगा.

बयान के मुताबिक किसानों की जोत (यानि फसल कितने में लगाया गया था) का आकार चाहे जो हो उन्हें दो हेक्टेयर जमीन पर फसल के नुकसान के लिये मुआवजा दिया जाएगा. प्रदेश सरकार ने सहायता के वितरण के संदर्भ में एनडीआरएफ (राष्ट्रीय आपदा राहत कोष) के निर्देशों के लिए और इंतजार नहीं करने का फैसला किया है.

इसमें कहा गया कि गैर-सिंचित भूमि पर फसल के नुकसान के लिये किसान को 10 हजार रुपये प्रति हेक्टेयर तथा सिंचित भूमि पर फसल के नुकसान के लिये 15 हजार रुपये प्रति हेक्टेयर की दर से मुआवजा दिया जाएगा.

ये भी पढ़ें: राज्य सरकार की बड़ी पहल, बाढ़ से प्रभावित फसलों का देगी मुआवजा

आपको बता दें कि इससे पहले बिहार सरकार ने भी बारिश की वजह से क्षतिग्रस्त फसलों पर मुआवज़ा देने का ऐलान किया था. बिहार में यास तूफ़ान और मानसून की वजह किसानों को कई परेशानियों का सामना करना पड़ा था. जिसके बाद राज्य सरकार ने मदद के रूप में मुआवजा देने का ऐलान किया.

English Summary: State government opened treasury for farmers, will help financially
Published on: 16 October 2021, 11:50 AM IST

कृषि पत्रकारिता के लिए अपना समर्थन दिखाएं..!!

प्रिय पाठक, हमसे जुड़ने के लिए आपका धन्यवाद। कृषि पत्रकारिता को आगे बढ़ाने के लिए आप जैसे पाठक हमारे लिए एक प्रेरणा हैं। हमें कृषि पत्रकारिता को और सशक्त बनाने और ग्रामीण भारत के हर कोने में किसानों और लोगों तक पहुंचने के लिए आपके समर्थन या सहयोग की आवश्यकता है। हमारे भविष्य के लिए आपका हर सहयोग मूल्यवान है।

Donate now