Maize Farming: रबी सीजन में इन विधियों के साथ करें मक्का की खेती, मिलेगी 46 क्विंटल प्रति हेक्टेयर तक पैदावार! पौधों की बीमारियों को प्राकृतिक रूप से प्रबंधित करने के लिए अपनाएं ये विधि, पढ़ें पूरी डिटेल अगले 48 घंटों के दौरान दिल्ली-एनसीआर में घने कोहरे का अलर्ट, इन राज्यों में जमकर बरसेंगे बादल! केले में उर्वरकों का प्रयोग करते समय बस इन 6 बातों का रखें ध्यान, मिलेगी ज्यादा उपज! भारत का सबसे कम ईंधन खपत करने वाला ट्रैक्टर, 5 साल की वारंटी के साथ Small Business Ideas: कम निवेश में शुरू करें ये 4 टॉप कृषि बिजनेस, हर महीने होगी अच्छी कमाई! ये हैं भारत के 5 सबसे सस्ते और मजबूत प्लाऊ (हल), जो एफिशिएंसी तरीके से मिट्टी बनाते हैं उपजाऊ Mahindra Bolero: कृषि, पोल्ट्री और डेयरी के लिए बेहतरीन पिकअप, जानें फीचर्स और कीमत! Multilayer Farming: मल्टीलेयर फार्मिंग तकनीक से आकाश चौरसिया कमा रहे कई गुना मुनाफा, सालाना टर्नओवर 50 लाख रुपये तक घर पर प्याज उगाने के लिए अपनाएं ये आसान तरीके, कुछ ही दिन में मिलेगी उपज!
Updated on: 24 July, 2023 3:06 PM IST
प्रगतिशील किसान क्लब

प्रगतिशील किसान क्लब द्वारा आयोजित एक महत्वपूर्ण सभा में किसानों को विविध फसल चक्र अपनाने की परिवर्तनकारी क्षमता के बारे में बताया गया. सिहौल के प्रतिष्ठित धानुका एग्रीटेक रिसर्च एंड टेक्नोलॉजी सेंटर में आयोजित इस कार्यक्रम में धानुका सेंटर के उपनिदेशक अजीत सिंह तोमर और बागवानी विभाग, हरियाणा के पूर्व निदेशक डॉ. बीएस सहरावत जैसी प्रतिष्ठित हस्तियों की उपस्थिति देखी गई.

सेमिनार के दौरान, किसानों को अपने फसल चक्र में विविधता लाने के साधन के रूप में मक्का, सरसों और मूंग की खेती को अपनाने के लिए प्रेरित किया गया, जिसका लक्ष्य खर्च कम करते हुए अधिकतम लाभ प्राप्त करना है. अजीत तोमर ने इस बात पर जोर दिया कि पारंपरिक धान और गेहूं चक्र किसानों पर प्रतिकूल प्रभाव डाल रहा है, जिससे जल स्तर गिर रहा है और लाभप्रदता कम हो रही है. परिवर्तन की तत्काल आवश्यकता को पहचानते हुए, उन्होंने हरियाणा में मक्का की उच्च मांग को देखते हुए, मक्का, सरसों और मूंग को अपनाने की वकालत की.

मक्के की खेती को अपनाने से न केवल राजस्व में वृद्धि का वादा किया गया है, बल्कि बाहरी व्यय को कम करके राज्य के धन को बनाए रखने की भी संभावना है. इसके अलावा, सरसों की खेती को बढ़ावा देकर, हरियाणा खाद्य तेल के आयात को रोक सकता है, आत्मनिर्भरता सुनिश्चित कर सकता है और राज्य की अर्थव्यवस्था को मजबूत कर सकता है.

सेमिनार में बिजेंद्र दलाल, डॉ. महावीर सिंह मलिक, डॉ. मनोहर लाल, जितेंद्र कुमार, वीरेंद्र कुमार, विश्वास वैभव, डॉ. मोहित और डॉ. भानु जैसे प्रमुख कृषि विशेषज्ञों की उपस्थिति देखी गई, जिनमें से सभी ने इस प्रगतिशील कृषि चर्चा में अपनी बहुमूल्य अंतर्दृष्टि और विशेषज्ञता साझा की. 

ये भी पढ़ें: सीधे किसानों से खरीदें खाद्य वस्तुएं का सामान, मिलेगा अच्छा मुनाफा

इस गेम-चेंजिंग सेमिनार पर अधिक कवरेज के लिए कृषि जागरण से जुड़े रहें, क्योंकि किसान उच्च पैदावार, लाभप्रदता और टिकाऊ कृषि पद्धतियों की राह पर आगे बढ़ रहे हैं.

English Summary: Seminar urges farmers to optimize crop rotation for better yield and profitability
Published on: 24 July 2023, 03:13 PM IST

कृषि पत्रकारिता के लिए अपना समर्थन दिखाएं..!!

प्रिय पाठक, हमसे जुड़ने के लिए आपका धन्यवाद। कृषि पत्रकारिता को आगे बढ़ाने के लिए आप जैसे पाठक हमारे लिए एक प्रेरणा हैं। हमें कृषि पत्रकारिता को और सशक्त बनाने और ग्रामीण भारत के हर कोने में किसानों और लोगों तक पहुंचने के लिए आपके समर्थन या सहयोग की आवश्यकता है। हमारे भविष्य के लिए आपका हर सहयोग मूल्यवान है।

Donate now