देश में कोरोना वायरस के चलते इस समय लॉकडाउन लगा हुआ है. इसी लॉकडाउन में किसानों के मदद के लिए वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने प्रेस कांफ्रेंस कर बताया था कि नए वित्त वर्ष के पहले सप्ताह में ही पीएम किसान सहायता राशि भेज दी जाएगी. बता दें, केंद्र सरकार के स्वीकृत सूची को राज्य सरकार (बिहार) ने मिलान कर अंतरण आदेश (एफपीओ) भेज दिया है. सभी पात्र किसानों को हर साल 2,000 रुपए की तीन किश्त के माध्यम से साल में 6,000 रुपए सहायता राशि दी जाती है. बिहार राज्य के 65 लाख किसान इस योजना के लिए ऑनलाइन आवेदन किया है जिसमे से कुछ में गलतियां है जिसके चलते इन किसानो को लाभ से वंचित रहना पड़ेगा.
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि का पैसा केंद्र सरकार के तरफ से (डायरेक्ट बेनीफिट ट्रांसफर के माध्यम) लाभार्थियों के खातों में भेजा जाता है. सम्मान निधि भेजने में राज्य सरकार की भूमिका केवल पात्र किसानों सूची मिलाकर अनुशंसा भेजने की होती है.यह पैसा उन्ही किसानों के खातों में जाएगा जिनका बैंक खाता आधार से लिंक होगा. यदि किसान का खाता आधार नंबर से नहीं जुड़ा होगा उसके खाते में पीएम किसान की राशि नहीं जाएगी. ऐसे स्थित में किसान पहले अपने खातों को आधार लिंक करवा कर पुनः आवेदन करें.
बता दें, पीएम किसान सम्मान निधि के पैसे अब किसानों के खातों में आने वाले है. बिहार राज्य सरकार ने 58 लाख 61 हजार किसानों के अप्रैल से जुलाई (4 महीने) की भुगतान के लिए निधि अंतरण आदेश (एफपीओ) भेजा है. बता दें, भेजे हुए डटा के हिसाब से बिहार में पात्र किसानों के खातों में कुल 1161 करोड़ 59 लाख रुपये डाले जाएंगे. इसके अलावा बिहार सरकार ने दो लाख किसानों के पुराने भुगतान के लिए निधि अंतरण आदेश (एफपीओ) भी भेजा है. इस तरह अब राज्य में पीएम निधि का 1220 करोड़ रुपए का बजट आएगा.