Maize Farming: रबी सीजन में इन विधियों के साथ करें मक्का की खेती, मिलेगी 46 क्विंटल प्रति हेक्टेयर तक पैदावार! पौधों की बीमारियों को प्राकृतिक रूप से प्रबंधित करने के लिए अपनाएं ये विधि, पढ़ें पूरी डिटेल अगले 48 घंटों के दौरान दिल्ली-एनसीआर में घने कोहरे का अलर्ट, इन राज्यों में जमकर बरसेंगे बादल! केले में उर्वरकों का प्रयोग करते समय बस इन 6 बातों का रखें ध्यान, मिलेगी ज्यादा उपज! भारत का सबसे कम ईंधन खपत करने वाला ट्रैक्टर, 5 साल की वारंटी के साथ Small Business Ideas: कम निवेश में शुरू करें ये 4 टॉप कृषि बिजनेस, हर महीने होगी अच्छी कमाई! ये हैं भारत के 5 सबसे सस्ते और मजबूत प्लाऊ (हल), जो एफिशिएंसी तरीके से मिट्टी बनाते हैं उपजाऊ Mahindra Bolero: कृषि, पोल्ट्री और डेयरी के लिए बेहतरीन पिकअप, जानें फीचर्स और कीमत! Multilayer Farming: मल्टीलेयर फार्मिंग तकनीक से आकाश चौरसिया कमा रहे कई गुना मुनाफा, सालाना टर्नओवर 50 लाख रुपये तक घर पर प्याज उगाने के लिए अपनाएं ये आसान तरीके, कुछ ही दिन में मिलेगी उपज!
Updated on: 7 May, 2020 2:21 PM IST

अनानास की खेती किसानों के लिए फायदेमंद है. इसे अनेक प्रकार की जलवायु में आसानी से किया जा सकता है. हालांकि इसकी खेती के लिए दोमट मिट्टी सबसे बढ़िया मानी जाती है. भारत में इसकी खेती मुख्य तौर पर छत्तीसगढ़ के बिलासपुर, बस्तर और सरगुजा क्षेत्रों में होती है. चलिए आपको बताते हैं कि कैसे आप इसकी खेती से अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं.

बुवाई  का समय

अनानास की बुवाई  के लिए बरसात के दिनों से बढ़िया समय और कोई नहीं है. इसके लिए पर्याप्त मात्रा में मृदा में नमी का बने रहना जरूरी है. इसलिए मैदानी क्षेत्रों में खेती से पहले मिट्टी की जुताई जरूरी है. पहाड़ी क्षेत्रों में इसकी खेती सीढ़ीदार होती है. इसकी खेती कतार में करनी चाहिए.

बुवाई का तरीका

अनानास को भूमि में 10 सेटींमीटर छोटे रोपे में बोना चाहिए. भूमि में पौधा सीधा लगाना चाहिए, इस दौरान ध्यान रहे कि उसके कालिका भाग में मिट्टी न भरने पाए. पौधों की आपसी दूरी कुल 25 सेमी और कतार की कतार से दूरी 60 सेमी के आस-पास होनी चाहिए.

सिंचाई

इस फसल को सूखे के मौसम में हल्की सिंचाई की जरूरत होती है. महीने में तीन बार कम से कम तीन सिंचाई करनी जरूरी है. वैसे सिंचाई की आवश्यकता भूमि की किस्म को देखते हुए अलग-अलग भी हो सकती है, इसलिए नमी को बनाएं रखने के लिए आप अपने अनुसार सिंचाई कर सकते हैं.

कटाई और तुड़ाई

सामान्य रूप से पौधों की रोपाई के 15 से 18 महीने बाद उसमें फूल आने लग जाते हैं. फूलों के आने के 4-5 महीने बाद फल लगने लग जाते हैं. फलों के 80 प्रतिशत तक परिप्कव होने के बाद, आप आसानी से इन्हें पेड़ों से तोड़ सकते है. हालांकि खाने के लिए पूरी तरह से पकने में इन्बें कुछ समय लगता है, इसलिए सेवन हेतु इसके फल तुड़ाई के बाद तैयार नहीं होते.

भंडारण

अनानास के फलों को तुड़ाई के बाद 4 से 5 दिन पकने देना चाहिए. लेकिन ध्यान रहे कि भंडारण 5 दिन से अधिक न हो, नहीं तो फल खराब होने लग जाएंगें. कटाई के बाद इन्हें मंडियों में जल्दी बिक्री के लिए ले जाएं.

(आपको हमारी खबर कैसी लगी ?  इस बारे में अपनी राय कमेंट बॉक्स में जरूर दें. इसी तरह अगर आप पशुपालन, किसानी, सरकारी योजनाओं आदि के बारे में जानकारी चाहते हैं, तो वो भी बताएं. आपके हर संभव सवाल का जवाब कृषि जागरण देने की कोशिश करेगा)

English Summary: pineapple farming profitable know what is the right method of pineapple farming
Published on: 07 May 2020, 02:22 PM IST

कृषि पत्रकारिता के लिए अपना समर्थन दिखाएं..!!

प्रिय पाठक, हमसे जुड़ने के लिए आपका धन्यवाद। कृषि पत्रकारिता को आगे बढ़ाने के लिए आप जैसे पाठक हमारे लिए एक प्रेरणा हैं। हमें कृषि पत्रकारिता को और सशक्त बनाने और ग्रामीण भारत के हर कोने में किसानों और लोगों तक पहुंचने के लिए आपके समर्थन या सहयोग की आवश्यकता है। हमारे भविष्य के लिए आपका हर सहयोग मूल्यवान है।

Donate now