भारत की सबसे बड़ी बीमा कंपनी LIC भारतीय जीवन बीमा निगम ग्राहकों की सुविधाओं के लिए एक बेहतरीन डिजिटल वार्टिकल या डिजिटल प्लेटफॉर्म लाने की तैयारी कर रही है. जिससे वह अपने ग्राहकों से और भी अधिक जुड़ सके. साथ ही इस डिजिटल प्लेटफॉर्म से एलाआईसी को काफी अधिक मुनाफा होगा.
LIC का बाजार में इस डिजिटल प्लेटफॉर्म को लाने का मुख्य उद्देश्य बाजार में अपने महत्व को बढ़ाना है. इसके साथ ही एजेंटों की निर्भरता को कम करने के लिए, डिजिटलाइजेशन को बढ़ाने के लिए और सबसे अहम अपनी तरफ निवेशकों को लुभाने के मकसद से भी LIC यह डिजिटल प्लेटफॉर्म बाजार में ला रही है.
इस डिजिटल प्लेटफॉर्म पर एलआईसी के अध्यक्ष एमआर कुमार ने प्री-आईपीओ की बैठक में कहा कि हम ग्राहकों के लिए एक पूर्ण डिजिटल वर्टिकल बनाना चाहते है. उन्होंने यह भी कहा की यह प्लेटफॉर्म हमारे मौजूदा ऑनलाइन चैनल की समीक्षा और नवीनीकरण से एक दम अलग और आसान होगा.
घर बैठे सीधे एलआईसी के अधिकारियों से संपर्क (Direct contact with LIC officials sitting at home)
आपको बता दें कि साल 2020 दिसंबर से जनवरी 2022 के दौरान LIC की हिस्सेदारी में 68.5 प्रतिशत से गिरकर 61.4 प्रतिशत तक आ गई थी. वहीं जून 2022 के 74.04 प्रतिशत से LIC की हिस्सेदारी में 13 प्रतिशत की गिरावट आई थी.
साल 2022 में कोरोना महामारी के कारण कई ग्राहकों को अपनी परेशानी का हल निकालने के लिए LIC से संपर्क करने में बहुत सी मुश्किलों का सामना करना पड़ा, क्योंकि ग्राहक पूरी तरह से एलआईसी के एजेंटों पर ही निर्भर रहते है. उनका संपर्क सीधे LIC के अधिकारियों से नहीं हो पाता है, लेकिन LIC के इस डिजिटल प्लेटफॉर्म की योजना से अब ग्राहक घर बैठे सीधे एलआईसी के अधिकारियों से संपर्क कर सकेंगे.
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एलआईसी का कई निजी बीमा कंपनी से मुकाबला (LIC's competition with many private insurance companies)
एलआईसी के एक डाटा के अनुसार, LIC की कुल प्रीमियम आय में से 90 प्रतिशत उनके एजेंटों से उन्हें प्राप्त होता है और बाकी बची आय बैंक इंश्योरेंस और अन्य चैनल के जरिए प्राप्त होती है.
एलआईसी का यह भी कहना है कि इस डिजिटल प्लेटफॉर्म के बाजार में आ जाने से कई निजी बीमा कंपनी से हमारा मुकाबला होगा. क्योंकि निजी क्षेत्र की बीमा कंपनियों का प्रीमियम आय लगभग 29.8 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी के साथ लगभग 79.216.84 करोड़ रुपए तक है और वहीं एलआईसी का प्रीमियम आय साल 2021 दिसंबर में 3.01 प्रतिशत से गिरकर लगभग 1.26 लाख करोड़ रुपए तक रहा है.