कृषि जागरण के चौपाल में आज प्रो. मोनी मदास्वामी शामिल हुए. जोकि वर्तमान में शोभित विश्वविद्यालय में प्रोफेसर एमेरिटस (सूचना विज्ञान और ई-गवर्नेंस) के पद पर हैं. इसके पहले ये राष्ट्रीय सूचना विज्ञान केंद्र, भारत सरकार के पूर्व महानिदेशक (Former Director General National Informatics Centre, Govt. of India) पद पर थे. बता दें कि उन्होंने आज कृषि जागरण के कार्यकाल का दौरा किया और साथ ही केजे चौपाल में अपना अमूल्य समय भी दिया. जहां उन्होंने कृषि क्षेत्र से जुड़ी व अन्य कई तरह की महत्वपूर्ण जानकारी दी. तो आइए केजे चौपाल में आज क्या कुछ खास रहा इसके बारे में विस्तार से जानते हैं...
आज कृषि जागरण के चौपाल में प्रो. मोनी मदास्वामी (Prof. Moni Madaswamy) ने कहा कि एसीएफ बिजनेस मीट, एक छत के नीचे विभिन्न कृषि स्टार्ट-अप्स, सहकारी समितियों और एफपीओ के साथ एक इंटरैक्टिव सत्र है, जो व्यापार आउटरीच के बेहतर अवसरों के लिए एक-एक करके आपके व्यवसाय को गति देने में मदद करता है. इसके अलावा उन्होंने कहा कि भारत के पास कृषि उद्यमिता और कृषि स्टार्टअप को विकसित करने के लिए बहुत अवसर हैं और साथ ही उन्होंने कहा कि कृषि क्षेत्र को उद्योग के रूप में कार्य करना है. क्योंकि मैं नहीं चाहता कि युवा वर्ग उद्योग के लिए शहरों में जाए.
साथ ही प्रो. एम. मोनी ने यह भी जानकारी साझा की कि यदि छोटे और बड़े भी अपनी वस्तुओं का निर्यात कर सकते हैं, तो भारतीय सीमांत किसान और कृषि क्षेत्र सही मायने में भारतीय सकल घरेलू उत्पाद में अपनी छाप छोड़ सकते हैं.
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प्रो. एम. मोनी के बारे में...
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि यह प्रो. एम. मोनी एक शिक्षाविद, शोधकर्ता, लेखक, परियोजना विकासकर्ता, परियोजना कार्यान्वयन कर्ता, संगठन निर्माता और सबसे बढ़कर मिशनरी उत्साह के व्यक्ति भी माने जाते हैं. ये ही नहीं इनके पास कृषि क्षेत्र से संबंधित 35 से अधिक वर्षों का अनुभव है. जिसके चलते प्रो. एम. मोनी देश में सूचना विज्ञान और ई-गवर्नेंस के क्षेत्र में एक प्रसिद्ध वरिष्ठ टेक्नोक्रेट हैं.
यह भारत सरकार के राष्ट्रीय सूचना विज्ञान केंद्र के पूर्व महानिदेशक थे. इसके बाद शोभित विश्वविद्यालय में प्रोफेसर एमेरिटस (सूचना विज्ञान और ई-गवर्नेंस) के रूप में शामिल हुए, और कृषि सूचना विज्ञान और ई-शासन अनुसंधान अध्ययन केंद्र (CARIS) की स्थापना की. जो ग्रामीण युवाओं को कृषि सूचना विज्ञान में एम.टेक/बी.टेक/पीजी डिप्लोमा/डिप्लोमा पाठ्यक्रम और कृषि व्यवसाय प्रबंधन पाठ्यक्रम में एमबीए प्रदान करता है.