पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह की जयंती के अवसर पर 23 दिसंबर को किसान सम्मान दिवस का आयोजन ऑफिसर क्लब में किया गया. इस कार्यक्रम के मुख्य अतिथि राज्यसभा सांसद नीरज शेखर थे, जो पूर्व प्रधानमंत्री चंद्रशेखर के पुत्र है. उन्होंने बेहतर खेती के लिए चयनित 28 किसानों को सम्मानित किया. कार्यक्रम में किसानों को आधुनिक कृषि तकनीकों और टिकाऊ खेती को बढ़ावा देने के लिए प्रेरित किया गया.
महिलाओं को किया गया सम्मानित
रबी फसल व खरीफ फसलों के लिए हुए चयन में तीन महिला किसान भी शामिल है. सम्मानित होने वाले में मसूर खेती में मुड़ाडीह निवासी अनीता देवी, अघैला निवासी अंजनी सिंह, गेहूं में चकिया के सुमन व बोड़िया निवासी निर्भय सिंह, गेहूं की प्राकृतिक खेती में जगदीशपुर निवासी रामजन्म, सिंहपुर के निवासी राजेश सिंह को सम्मान मिला.
इन किसानों को किया गया सम्मानित
धान की फसल के लिए मुरेरा निवासी सरयू सिंह व केसरूवा निवास बृजा शंकर यादव, बाजारा के लिए टंडवा निवासी रबीन्द्रनाथ चौबे व नवाबगंज निवासी रामलाल सम्मानित हुए. कोदो की खेती के लिए नदौलली निवासी राम बहादुर, व नगहर निवासी रामविलास, रागी के लिए बघौल निवासी, रामचंद्र तिवारी व कोटवा निवासी ओमप्रकाश वर्मा,सावां में बहुताचक उपाध्याय निवासी बुचिया व सवरां शिवमंगल सिंह का सम्मान किया गया. टमाटर के लिए शाहपुर बभनौली निवासी प्रभुनाथ व सरांक निवासी धर्मेंद्र तिवारी आलू के लिए दौलतपुर निवासी विजय शंकर का सम्मान किया गया.
किसानों के सच्चे हितैषी चौधरी चरण सिंह
किसान सम्मान दिवस पर मुख्य अतिथि नीरज शेखर ने कहा की चौधरी चरण सिंह जिन्हें अक्सर किसानों को चैंपियन के रूप में जाना जाता था, सन् 1979 से 1980 तक प्रधानमंत्री के रूप में अपने कार्यकाल के दौरान किसानों को सशक्त बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. चौधरी चरण सिंह ने ऋण मोचन विधेयक जैसे ऐतिहासिक सुधारो की शुरुआत की, जिसने किसानों को शोषण साहूकारों से मुक्त किया और ऐसी नीतियों को लागू किया जिन्होंने भारत में कृषि आत्मनिर्भरता को काफी आगे बढ़ाया. उत्तर प्रदेश में भूमि सुधारो में उनका योगदान ने कृषि परिदृश्य को बदल दिया. उनकी विरासत के सम्मान में नई दिल्ली में उनके स्मारक का नाम किशन घाट रखा गया.
किसान देश की समृद्धि की नींव
उप कृषि निदेशक मनीष कुमार सिंह ने कहा कि किसान राष्ट्र की जीवन धारा और अन्नदाता के रूप में सम्मानित भारत की समृद्धि की नींव है. उनके अथक परिश्रम देश का पेट भरता है ग्रामीण अर्थव्यवस्था को कायम रखना है और हर घर का ताकत सुनिश्चित करता है.
किसानों के योगदान का उत्सव
जिला कृषि अधिकारी ने कहा कि राष्ट्रीय किसान दिवस 23 दिसंबर को मनाया जाता है जो किसानों के लिए अमूल योगदान का उत्सव मनाता है. यह दिन भारत के पांचवें प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह की जयंती है, जो ग्रामीण मुद्दे की गहरी समझ और किसानों के कल्याण के लिए अटूट वकालत के लिए प्रसिद्ध है. यह हमारे किसानों के अटूट समर्पण सम्मान करने और देश की प्रगति को आकार देने में उनकी महत्वपूर्ण भूमिका को पहचान का क्षण है.
उपनिदेशक कृषि ने कहा कि जिन किसानों को सम्मानित किया गया क्रॉप कटिंग के परिणाम पर किसानों को सम्मानित और पुरस्कृत की किया गया है.
रबीन्द्रनाथ चौबे, ब्यूरो चीफ, कृषि जागरण
बलिया, उत्तर प्रदेश