उपभोक्ता कार्य विभाग ने एक अंतर-मंत्रालय समिति के माध्यम से शुक्रवार को फिर अन्य बातों के अलावा प्याज एवं टमाटर की कीमतों और इनकी उपलब्धता की समीक्षा की. इस बैठक में कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय, वाणिज्य मंत्रालय, खाद्य प्रसंस्करण मंत्रालय, नैफेड, मदर डेयरी, केंद्रीय भंडार के प्रतिनिधियों, दिल्ली सरकार के प्रतिनिधि, एपीएमसी आजादपुर के प्रतिनिधि और उपभोक्ता कार्य विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों ने भाग लिया. बैठक के दौरान यह बताया गया कि दीपावली की छुट्टियों के कारण आपूर्ति में कुछ व्यवधान आए हैं और कुछ उत्पादक क्षेत्रों में बारिश होने से कटाई प्रभावित हुई है. इस वजह से कीमतों में वृद्धि हुई है, लेकिन आवक में बढ़ोतरी, जो शुरू हो चुकी है, का सीधा असर थोक एवं खुदरा बाजारों में कीमतों को थामने और फिर इसमें कमी लाने पर पड़ेगा.
टमाटर के मामले में यह बताया गया कि आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु, महाराष्ट्र और कर्नाटक में कटाई चल रही है. वैसे तो टमाटर की आवक में सुधार होने लगा है, लेकिन महाराष्ट्र और कर्नाटक में भारी बारिश के कारण यह कुछ हद तक प्रभावित हुई है. राजस्थान, मध्य् प्रदेश, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में कटाई जारी रहने से नवंबर के मध्य में इसकी आवक में सुधार होने की उम्मीद है. कृषि मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने यह भी बताया गया कि कर्नाटक एवं आंध्र प्रदेश में खरीफ प्याज की कटाई चल रही है और महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश एवं राजस्थान में इसकी शुरुआत हो गई है. देर से खरीफ की बुवाई महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश और गुजरात में पूरी हो गई है. अब तक प्राप्त रिपोर्टों के अनुसार, खरीफ के अंतर्गत बुवाई क्षेत्र कवरेज या रकबा पिछले वर्ष की तुलना में अधिक होने की उम्मीद है.
उपभोक्ताओं को और राहत देने के लिए निम्नलिखित महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए हैं:-
मदर डेयरी दिल्ली के बाजार में खुदरा बिक्री के लिए खुले बाजार से बेहतर प्याज हासिल करके प्याज की अपनी आपूर्ति बढ़ाएगी. एपीएमसी दिल्ली इस कार्य को मदर डेयरी के लिए सुविधाजनक बनाएगी.
प्याज और टमाटर की आवाजाही को आसान बनाने के लिए ठोस कदम उठाए जा रहे हैं.
ऐसी भी खबरें हैं कि 80 कंटेनर प्याज को मिस्र और नीदरलैंड से आयात किया गया है, जहां से इसकी आपूर्ति के बाजारों तक पहुंचने की संभावना है.