जरूरतमंद परिवारों को उनके सपनों का घर देने के उद्देश्य से हैबिटेट फॉर ह्यूमैनिटी इंडिया और मैक्स एस्टेट्स ने हरियाणा के रेवाड़ी जिले में अपने संयुक्त किफायती आवास प्रोजेक्ट का पहला चरण पूरा कर लिया है. इस प्रोजेक्ट के तहत रेवाड़ी जिले के आकरा गांव में 25 नए घरों का निर्माण किया गया है. इसी उपलक्ष्य में 19 नवंबर 2024 को आकरा गांव में एक कार्यक्रम आयोजित करके सभी मकान मालिकों को उनके घर की चाबी सौंपी गई. इस मौके पर मैक्स एस्टेट्स लिमिटेड के मानव संसाधन (Human Resource) प्रमुख कुमार आलोक शुभम और हैबिटेट फॉर ह्यूमैनिटी इंडिया के राष्ट्रीय निदेशक आनंद कुमार बोलिमेड़ा सहित 25 नए घरों के मालिकों ने भाग लिया.
बता दें, ये सभी घर जरूरतमंद लोगों को उन्हीं की जमीन पर फ्री में बनाकर उपलब्ध कराए गए हैं. इसके निर्माण के लिए इन परिवारों से कोई पैसा नहीं लिया गया है.
भूदला गांव में शुरू होगा प्रोजेक्ट का दूसरा चरण
इस प्रोजेक्ट के तहत दूसरे चरण का निर्माण भूदला गांव में जल्द ही शुरू होने वाला है, जहां अतिरिक्त 25 घर बनाए जाएंगे. इस चरण को नवंबर 2025 तक पूरा करने की योजना है. दूसरे चरण में रेवाड़ी जिले के दो गांवों में कुल 50 परिवारों को लाभ होगा. इस प्रोजेक्ट की सफलता यह दर्शाती है कि कैसे विभिन्न क्षेत्रों में साझेदारी के जरिए लोगों की जरूरतों को पूरा किया जा सकता है.
यह घर गरिमा, सुरक्षा और उज्ज्वल भविष्य का प्रतीक
प्रोजेक्ट के पहले चरण की सफलता पर टिप्पणी करते हुए राष्ट्रीय निदेशक हैबिटेट फॉर ह्यूमैनिटी इंडिया के राष्ट्रीय निदेशक आनंद कुमार बोलिमेड़ा ने कहा है कि इन 25 परिवारों के चेहरों पर नई घरों की चाबियां थामने पर जो खुशी देखी गई, वह देखना एक बहुत ही सुखद व संतोषजनक अनुभव है. 25 नए घरों का निर्माण एक परिवर्तनकारी मील का पत्थर साबित होगा. इन घरों का मतलब केवल एक ढांचागत संरचना से कहीं ज्यादा है. यह घर इन परिवारों के लिए गरिमा और सुरक्षा के साथ अपने प्रियजनों के लिए एक उज्जवल भविष्य बनाने का अवसर प्रदान करने का प्रतीक है. हमें मैक्स एस्टेट्स के साथ मिलकर इन जरूरतमंद समुदायों को सशक्त बनाने पर गर्व महसूस कर रहे हैं.
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आवास केवल एक आवश्यकता नहीं, बल्कि एक मौलिक मानव अधिकार भी है
एम.डी., मैक्स एस्टेट्स लिमिटेड के उपाध्यक्ष साहिल वचानी ने कहा कि मैक्स एस्टेट्स का उद्देश्य सेवाभाव है. सेवा की संस्कृति को बढ़ावा देने और समाजिक जीवन गुणवत्ता में सकारात्मक बदलाव लाने के लिए हम प्रतिबद्ध हैं. हमें विश्वास है कि सुरक्षित और आरामदायक आवास केवल एक आवश्यकता नहीं, बल्कि एक मौलिक मानव अधिकार है. हैबिटेट फॉर ह्यूमैनिटी इंडिया के साथ हमारी साझेदारी के माध्यम से हमें उन परिवारों के जीवन में एक सकारात्मक बदलाव लाने का सौभाग्य प्राप्त हुआ है, जिन्हें हमारी LiveWell दर्शन की आवश्यकता थी. हम किफायती आवास की तत्काल आवश्यकता को पूरा करने की दिशा में एक कदम और बढ़े हैं, जिससे यह साबित होता है कि मिलकर काम करने से बदलाव जरूर आता है.
भारत में 1983 से सक्रिय है हैबिटेट फॉर ह्यूमैनिटी
हैबिटेट फॉर ह्यूमैनिटी 1976 में एक Grassroots प्रयास के रूप में शुरू हुआ था और तब से यह एक प्रमुख वैश्विक गैर-लाभकारी संगठन बन गया है, जो 70 से अधिक देशों में काम करता है. यह भारत में 1983 से सक्रिय है और इसने 38 मिलियन से अधिक लोगों के घर बनाने या सुधारने, बेहतर स्वच्छता इकाइयों के निर्माण, और प्राकृतिक आपदाओं के बाद मानवीय सहायता और आपदा-प्रतिरोधी आवास समाधान प्रदान करने में मदद की है.