पर्यावरण संरक्षण के लिए कार्य करने वाले वैश्विक संगठन इको सिख ने अपनी स्थापना के 15 वर्ष पूरे होने पर एक भव्य कार्यक्रम का आयोजन कर जश्न मनाया. यह कार्यक्रम नई दिल्ली के इंडिया हैबिटेट सेंटर के जुनिपर हॉल में आयोजित किया गया, जिसमें कई प्रमुख पर्यावरणविद और सम्मानित हस्तियां मौजूद रहीं. प्रसिद्ध पर्यावरणविद बाबा सेवा सिंह, सांसद विक्रम साहनी, पूर्व सांसद तरलोचन सिंह और मडी.एस.जी.एम.सी. अध्यक्ष हरमीत सिंह कालका भी कार्यक्रम में शामिल रहे.
इको सिख 1032 जंगलों में 5,70,000 से अधिक पेड़ लगाने की उपलब्धि हासिल कर चुका है और इस कार्यक्रम में संगठन ने 2030 तक 10 मिलियन यानी एक करोड़ पेड़ लगाने की अगली साहसिक योजना की घोषणा की.
इको सिख के वैश्विक अध्यक्ष डॉ. राजवंत सिंह ने इस अवसर पर खुशी व्यक्त करते हुए कहा, "इन 15 वर्षों में पृथ्वी को बचाने के लिए लोगों के सामूहिक प्रयासों की यह यात्रा अद्भुत रही है. इसने सभी लोगों को यह विश्वास दिलाया है कि आध्यात्मिक शिक्षाएं लोगों को अच्छे कार्य करने के लिए प्रेरित करती हैं."
डॉ. सिंह ने 2030 के अंत तक एक करोड़ पेड़ लगाने के अपने संगठन के संकल्प की घोषणा की. उन्होंने दुनियाभर के समुदायों से इस मिशन में भाग लेने का आह्वान किया और एक हरे-भरे, स्वस्थ ग्रह के निर्माण में सामूहिक प्रयासों पर जोर दिया.
प्रसिद्ध पर्यावरणविद पद्म बाबा सेवा सिंह ने सिख धर्म की आस्था और पेड़ लगाने के बीच के संबंधों पर गहरी रुचि के साथ बात की. उन्होंने इको सिख की दृष्टि और नैतिकता की सराहना की, जो हर सिख को विशेष रूप से और मानवता को सामान्य रूप से पेड़ लगाने के लिए प्रेरित करती है.
इको सिख इंडिया की अध्यक्ष डॉ. सुप्रीत कौर ने भी इस अवसर पर अपने अनुभवों को साझा किया. उन्होंने कहा, "इस मिशन के लिए समर्पित लोगों और साझेदारों के समर्थन के बिना हम इस मील के पत्थर को हासिल नहीं कर पाते. यह यात्रा हमारी टीम, कार्यकर्ताओं और स्वयंसेवकों के लिए एक संतोषजनक अनुभव रही है."
अफोरेस्ट के संस्थापक और इको सिख के सलाहकार शुभेंदु शर्मा ने कहा, "इको सिख ने पृथ्वी की पारिस्थितिकी को बचाने में एक महत्वपूर्ण प्रयास किया है, साथ ही समाज में पर्यावरण को लेकर सकारात्मक प्रभाव डालने के लिए ईमानदारी से कोशिश की, जिससे लोगों में जागरुकता पैदा हुई है. मुझे इको सिख की समर्पित टीम के साथ जुड़कर बहुत खुशी महसूस होती है."
इको सिख ने पंजाब और अन्य राज्यों में माइक्रो फॉरेस्ट (गुरु नानक पवित्र जंगल) बनाकर पुनर्वनीकरण और जैव विविधता के संरक्षण का कार्य किया है और क्षेत्र की स्थानीय वन प्रजातियों को पुनर्जीवित किया है. मार्च 2024 के अंत तक इको सिख ने 914 जंगलों में 5,02,700 से अधिक पेड़ लगाए हैं. ये जंगल पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, गुजरात, महाराष्ट्र, दिल्ली, चंडीगढ़, और जम्मू-कश्मीर में स्थित हैं. अब तक 100 से अधिक स्थानीय, दुर्लभ और संकटग्रस्त जंगली वन प्रजातियों को इन जंगलों में जीवित बीज बैंकों के रूप में संरक्षित किया गया है, जिन्हें मियावाकी पद्धति से बनाया गया है. इको सिख का मिशन पर्यावरण का संरक्षण है, और वे इस मिशन के प्रति पूरी तरह प्रतिबंध हैं.