Poultry Farming: बारिश के मौसम में ऐसे करें मुर्गियों की देखभाल, बढ़ेगा प्रोडक्शन और नहीं होगा नुकसान खुशखबरी! किसानों को सरकार हर महीने मिलेगी 3,000 रुपए की पेंशन, जानें पात्रता और रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया खुशखबरी! अब कृषि यंत्रों और बीजों पर मिलेगा 50% तक अनुदान, किसान खुद कर सकेंगे आवेदन किसानों को बड़ी राहत! अब ड्रिप और मिनी स्प्रिंकलर सिस्टम पर मिलेगी 80% सब्सिडी, ऐसे उठाएं योजना का लाभ GFBN Story: मधुमक्खी पालन से ‘शहदवाले’ कर रहे हैं सालाना 2.5 करोड़ रुपये का कारोबार, जानिए उनकी सफलता की कहानी फसलों की नींव मजबूत करती है ग्रीष्मकालीन जुताई , जानिए कैसे? Student Credit Card Yojana 2025: इन छात्रों को मिलेगा 4 लाख रुपये तक का एजुकेशन लोन, ऐसे करें आवेदन Pusa Corn Varieties: कम समय में तैयार हो जाती हैं मक्का की ये पांच किस्में, मिलती है प्रति हेक्टेयर 126.6 क्विंटल तक पैदावार! Watermelon: तरबूज खरीदते समय अपनाएं ये देसी ट्रिक, तुरंत जान जाएंगे फल अंदर से मीठा और लाल है या नहीं Paddy Variety: धान की इस उन्नत किस्म ने जीता किसानों का भरोसा, सिर्फ 110 दिन में हो जाती है तैयार, उपज क्षमता प्रति एकड़ 32 क्विंटल तक
Updated on: 14 January, 2022 3:13 AM IST
Chilli Farming

बदलते मौसम का प्रभाव इन दिनों फसलों पर दिखायी देने लगा है. तापमान के उतार-चढ़ाव की वजह से फसलों पर कीटों का हमला बढ़ गया है. ऐसे ही मामला देश के तेलंगाना और आन्ध्र प्रदेश के राज्यों में दिखायी दे रहा है जहाँ मिर्च की फसल (Chilli Crop) पर लगे कीटों से फसलों पर बुरा असर पड़ा है, फसल पूर्ण रूप से बर्बादी की कगार पर हैं. ऐसे में किसानों को अधिक समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है. किसान इन कीटों के हमले से काफी परेशान हैं.

बता दें तेलंगाना और आंध्र प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्र में किसानों ने मिर्च की खेती कर रखी है, लेकिन मौसम के बदलाव की वजह से मिर्च की फसल पर थ्रिप्स कीट के हमला बढ़ गया है. इन कीटों के छुटकारा पाने के लिए उनके पास कोई सुझाव, दवा और इलाज नहीं है, जिस वजह से किसान परेशान हैं.

किसानों का क्या है कहना (What The Farmers Have To Say)

किसानों का कहना है कि पिछले पांच-छह साल पहले फसल पर बहुत कम कीट पाए जाते थे, लेकिन फिर उन्हें नियंत्रित करने के लिए कोई प्रयास नहीं किया गया. इन कीटों पर नियंत्रण पाने के लिए हम लोगों ने बाजारों से कीटनाशक दवा का इस्तेमाल भी किया, लेकिन कोई अच्छा परिणाम नहीं मिला, क्योंकि बाज़ार में उपलब्ध कीटनाशक पूर्णरूप से नकली है.

वहीँ दूसरी तरफ किसानों के कहना है कि थ्राइब्स नामक कीड़ों के हमले से लगभग 9 लाख एकड़ मिर्च की खेती बर्बाद हो गयी है. इस समस्या से लाखों किसान प्रभावित हैं, लेकिन सरकार के स्तर पर इसे नियंत्रित करने के लिए कुछ नहीं किया गया है. किसान लाखों रुपए लगाकर बैठे हैं, लेकिन अब उनकी फसल बर्बाद हो गई है. उनका कहना है कि तेलंगाना में बड़े पैमाने पर नकली कीटनाशक बेचे जाते हैं, जिससे इस कीट पर नियंत्रण नहीं हो पा रहा है. खम्मम जिले में काफी नुकसान हुआ है, लेकिन राज्य सरकार को सिर्फ धान की फसल की चिंता है.

इस खबर को पढ़ें - मिर्च में फूल झड़ने के प्रमुख कारण और रोकथाम के उपाय

कृषि अधिकारीयों द्वारा मिली जानकारी (Information Received By Agriculture Officials)

बता दें कि नेशनल फार्मर्स प्रोग्रेसिव एसोसिएशन (आरकेपीए) अधिकारियों द्वारा मिली जानकारी के अनुसार, यह कीट साल 2015 के आस-पास इंडोनेशिया से एक पत्ती के साथ आया था.

तब कीटों को नियंत्रित करने के लिए जिम्मेदार एजेंसियों ने अपना काम ठीक से नहीं किया. इसको लेकर अभी तक कोई शोध नहीं हुआ है, जिससे आज भी किसान परेशान हैं. उनकी मिर्च की फसल बर्बाद हो गई है. प्रत्येक फूल में 20 से 25 कीट लग जाते हैं और अधिक फसलों को मार देते हैं.

English Summary: chilli crop ruined in telangana due to thrips pest attack, huge loss to farmers
Published on: 14 January 2022, 04:48 PM IST

कृषि पत्रकारिता के लिए अपना समर्थन दिखाएं..!!

प्रिय पाठक, हमसे जुड़ने के लिए आपका धन्यवाद। कृषि पत्रकारिता को आगे बढ़ाने के लिए आप जैसे पाठक हमारे लिए एक प्रेरणा हैं। हमें कृषि पत्रकारिता को और सशक्त बनाने और ग्रामीण भारत के हर कोने में किसानों और लोगों तक पहुंचने के लिए आपके समर्थन या सहयोग की आवश्यकता है। हमारे भविष्य के लिए आपका हर सहयोग मूल्यवान है।

Donate now