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Updated on: 2 September, 2024 5:45 PM IST
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने आज किसानों की आय और जीवन स्तर में सुधार के लिए 13,966 करोड़ रुपये की कुल लागत से सात नई योजनाओं को मंजूरी दी है. इन योजनाओं में डिजिटल एग्रीकल्चर मिशन, फसल विज्ञान अनुसंधान, कृषि शिक्षा का सशक्तिकरण, पशुधन स्वास्थ्य और उत्पादन, बागवानी का विकास, कृषि विज्ञान केंद्रों का सशक्तिकरण, और प्राकृतिक संसाधन प्रबंधन शामिल हैं. डिजिटल एग्रीकल्चर मिशन तकनीक का उपयोग करके किसानों की सहायता करेगा, जबकि अन्य योजनाएँ जलवायु अनुकूलन, खाद्य सुरक्षा, और आधुनिक कृषि शिक्षा पर ध्यान केंद्रित करेंगी. इन प्रयासों का उद्देश्य किसानों की आमदनी बढ़ाना और उनके जीवन की गुणवत्ता में सुधार करना है.

1. डिजिटल एग्रीकल्चर मिशन: डिजिटल पब्लिक इन्फ्रास्ट्रक्चर की संरचना पर आधारित इस मिशन का उद्देश्य तकनीक का उपयोग करके किसानों के जीवन को बेहतर बनाना है. इस मिशन की कुल लागत 2,817 करोड़ रुपये है और इसमें दो प्रमुख स्तंभ शामिल हैं:

एग्री स्टैक:

  • किसान पंजीकरण

  • गाँव भूमि मानचित्र पंजीकरण

  • फसल बोने का पंजीकरण

कृषि निर्णय सहायता प्रणाली:

  • भू-स्थानिक डेटा

  • सूखा/बाढ़ की निगरानी

  • मौसम/उपग्रह डेटा

  • भूजल/पानी की उपलब्धता का डेटा

  • फसल उत्पादन और बीमा के लिए मॉडलिंग

इस मिशन में निम्नलिखित प्रावधान शामिल हैं:

  • मृदा प्रोफाइल

  • डिजिटल फसल आकलन

  • डिजिटल उपज मॉडलिंग

  • फसल ऋण के लिए कनेक्टिविटी

  • आधुनिक तकनीकों जैसे AI और बिग डेटा का उपयोग

  • खरीदारों से कनेक्टिविटी

  • मोबाइल फोन पर नई जानकारी लाना

  1. खाद्य और पोषण सुरक्षा के लिए फसल विज्ञान: इस पहल की कुल लागत 3,979 करोड़ रुपये है. इसका उद्देश्य किसानों को जलवायु अनुकूलन के लिए तैयार करना और 2047 तक खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित करना है. इसमें निम्नलिखित स्तंभ शामिल हैं:

  • अनुसंधान और शिक्षा

  • पौधों की आनुवंशिक संसाधन प्रबंधन

  • खाद्य और चारे की फसल के लिए आनुवंशिक सुधार

  • दलहन और तिलहन फसल सुधार

  • वाणिज्यिक फसलों में सुधार

  • कीट, सूक्ष्मजीव, परागणक आदि पर अनुसंधान

  1. कृषि शिक्षा, प्रबंधन और सामाजिक विज्ञान का सशक्तिकरण: इस योजना की कुल लागत 2,291 करोड़ रुपये है. इसका उद्देश्य कृषि छात्रों और शोधकर्ताओं को वर्तमान चुनौतियों के लिए तैयार करना है और इसमें निम्नलिखित शामिल हैं:

  • भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद के तहत

  • कृषि अनुसंधान और शिक्षा का आधुनिकीकरण

  • नई शिक्षा नीति 2020 के अनुरूप

  • नवीनतम तकनीक का उपयोग … डिजिटल DPI, AI, बिग डेटा, रिमोट सेंसिंग, आदि

  • प्राकृतिक खेती और जलवायु अनुकूलन को शामिल करना

4. पशुधन स्वास्थ्य और उत्पादन का सतत विकास: इस योजना की कुल लागत 1,702 करोड़ रुपये है. इसका उद्देश्य पशुधन और डेयरी से किसानों की आय बढ़ाना है. इसमें निम्नलिखित शामिल हैं:

• पशु स्वास्थ्य प्रबंधन और पशु चिकित्सा शिक्षा
• डेयरी उत्पादन और प्रौद्योगिकी विकास
• पशु आनुवंशिक संसाधन प्रबंधन, उत्पादन और सुधार
• पशु पोषण और छोटे जुगाली करने वाले पशुओं का उत्पादन और विकास

5. बागवानी का सतत विकास: इस योजना की कुल लागत 860 करोड़ रुपये है. इसका उद्देश्य बागवानी फसलों से किसानों की आय बढ़ाना है. इसमें निम्नलिखित शामिल हैं:

• उष्णकटिबंधीय, उप-उष्णकटिबंधीय और समशीतोष्ण बागवानी फसलें
• जड़, कंद, बल्बस और शुष्क फसलें
• सब्जियां, पुष्पकला, और मशरूम फसलें
• बागान, मसाले, औषधीय और सुगंधित पौधे

  1. कृषि विज्ञान केंद्र का सशक्तिकरण: इस योजना की कुल लागत 1,202 करोड़ रुपये है.

  2. प्राकृतिक संसाधन प्रबंधन: इस योजना की कुल लागत 1,115 करोड़ रुपये है.

English Summary: Cabinet approves seven major schemes for improving farmers’ lives and livelihoods with total outlay of Rs 13,966 Crore
Published on: 02 September 2024, 06:00 PM IST

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