भारत के कुल आबादी का एक बड़ा हिस्सा किसान है, यही कारण है सभी राजनीतिक पार्टी चुनाव में किसानों के बातों (समस्या) को अपना चुनावी मुद्दा बनाती है. इन्ही मुद्दों के बल पर ही वो सत्ता को हासिल भी कर लेती है.इतना ही नहीं सरकारें किसानों के हित में समय-समय पर अहम फैसलें भी लेती रहती है. वर्तमान की मोदी सरकार ने साल 2022 तक किसानों के आय दोगुनी करने का वादा किया है और इसके लिए वो निरंतर प्रयासरत भी है. इसी कड़ी में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नेतृत्व वाली 'राजग' सरकार किसानों की आय बढ़ाने लिए मनरेगा के नियम में कुछ परिवर्तन करने जा रही है. सरकार का मानना है कि मनरेगा स्कीम के जरिए किसान मजबूत और सशक्त हो सकते है.
दरअसल अब मनरेगा स्कीम के जरिए सरकार किसानों की आय दोगुनी करने जा रही है, इस नई योजना के अंर्तगत भूमि सुधार, खेत तालाब, चारागाह विकास और नर्सरी जैसे काम होंगे. सभी किसान परिवारों को 100 दिन के काम के साथ मजदूरी भी दी जाएगी. बता दे कि ग्राम्य विकास अभिकरण विकास के आयुक्त ने आदेश जारी कर इस बात की जानकारी दी है. चालू वित्त वर्ष 2019-20 में मनरेगा के श्रम बजट के माध्यम से किसानों की आय दोगुनी करने में सहयोग दिया जाएगा.
उन्होंने बताया की ऐसा करने के लिए किसानों के आय संवर्धन के साथ ही उन्हें रोजगार उपलब्ध करवाया जाएगा. इस श्रम बजट से एक रणनीति बनाई जायेगी कि प्रति ग्राम पंचायत पर कम से कम 10 किसान लाभार्थियों का चयन कर भूमि सुधार, खेत तालाब, चारागाह विकास, नर्सरी स्थापना के जरिए हर एक किसान परिवार को 100 दिन का रोजगार दिया जाए. ऐसा करने में महिला किसानों को प्राथमिकता दी जाए. साथ ही राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के अंतर्गत महिला किसान सशक्तिकरण योजना का विकास करने के काम किया जाए जिससे किसानो की आय दोगुनी हो जाएगी .जिला ग्राम्य विकास अभिकरण विभाग के परियोजना निदेशक सर्वेश चंद के अनुसार अमलीजामा पहनाने के लिए काम चालू कर दिया गया है. अब जल्द ही किसानों का चयन कर किसानों को लाभवंवित किया जाएगा.