आपको यह जानकर हैरानी होगी कि मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) में एक कपल ने अपने बाग की सुरक्षा के लिए लगभग एक दर्जन गार्ड और कुत्तों को तैनात किया है, जिसमें कुल दो आम के पेड़ हैं. अब ऐसा क्यों हैं आइये जानते हैं.
लाखों में बिकता है मियाज़ाकी आम (Miyazaki Mango sells for lakhs)
दरअसल, वो दो पेड़ जापानी मियाज़ाकी आम (Miyazaki Mango) के हैं. यह आम अंतरराष्ट्रीय बाजार में लगभग 2.70 लाख रुपये प्रति किलोग्राम के हिसाब से बिकता है. आपकी जानकारी के लिए बता दें कि जापान के मियाज़ाकी में ताइयो-नो-तमागो (Taiyo-no-tamago) के नाम से भी जाना जाता है.
कहां उगता है मियाज़ाकी आम (Where does the Miyazaki Mango Grow)
मियाज़ाकी आम को दुनिया के सबसे महंगे फलों में से एक कहा जाता है और यह बांग्लादेश, इंडोनेशिया, फिलीपींस सहित कुछ ही देशों में पाया जाता है. Miyazaki Mango के पौधों को एक पूर्ण आकार के पेड़ में विकसित होने से पहले गर्म मौसम और धूप के लंबे घंटों की आवश्यकता होती है.
भारत में मियाज़ाकी आम की खेती (Miyazaki Mango Cultivation in India)
मियाज़ाकी आम (Miyazaki Mango) उगाने वाले कपल मध्य प्रदेश के जबलपुर में रहने वाले रानी और संकल्प हैं. इन्होंने जब सालों पहले दो आम के पौधे लगाए, तो उन्हें लगा कि वे आम के अन्य पेड़ों की तरह उगेंगे, लेकिन जब पौधे विकसित हुए और असामान्य रूबी रंग के आमों उगे तो इन कपल को पता लगा यह आम जापानी मियाज़ाकी हैं जो दुनिया के महेंगे आमों में से एक है.
जापानी मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, मियाज़ाकी आम दुनिया में सबसे महंगे हैं और अंतरराष्ट्रीय बाजार में 2.70 लाख रुपये प्रति किलोग्राम के हिसाब से बिकते हैं. मियाज़ाकी आम (Miyazaki Mango) का वजन 350 ग्राम से अधिक होता है और इनमें चीनी की मात्रा 15% या इससे अधिक होती है.
मियाज़ाकी आम के रोचक तथ्य (Interesting facts about Miyazaki Mango)
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जापान में मियाज़ाकी स्थानीय उत्पादों और व्यापार संवर्धन केंद्र के अनुसार, ये आम अप्रैल और अगस्त के बीच चरम फसल के दौरान उगाए जाते हैं.
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जापानी मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, Miyazaki Mango दुनिया में सबसे महंगे हैं और अंतरराष्ट्रीय बाजार में 2.70 लाख रुपये प्रति किलोग्राम के हिसाब से बिकते हैं.
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जापानी व्यापार संवर्धन केंद्र के अनुसार, मियाज़ाकी एक प्रकार का "इरविन" आम है जो दक्षिण पूर्व एशिया में व्यापक रूप से उगाए जाने वाले पीले "पेलिकन आम" से अलग है.
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रेड प्रमोशन सेंटर ने कहा कि ये आम एंटीऑक्सिडेंट से भरपूर होते हैं और इसमें बीटा-कैरोटीन और फोलिक एसिड होता है, जो उन लोगों के लिए बहुत अच्छा है.
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स्थानीय समाचार रिपोर्टों में कहा गया है कि मियाज़ाकी में आम का उत्पादन 70 के दशक के अंत और 80 के दशक की शुरुआत में शुरू हुआ था.
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कुछ रिपोर्ट में कहा गया है कि गर्म मौसम, लंबे समय तक धूप और भरपूर बारिश ने मियाज़ाकी के किसानों को आम की खेती के लिए संभव बना दिया है.
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मियाज़ाकी आमों (Miyazaki Mango) को पूरे द्वीप राष्ट्र में निर्यात करने से पहले एक सख्त जांच और परीक्षण से गुजरना पड़ता है.
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ये आम अक्सर लाल रंग के होते हैं और इनका आकार डायनासोर के अंडे जैसा दिखता है.
मियाज़ाकी आम की रक्षा (Miyazaki Mango Protection)
वहीं इन कपल का कहना है कि जब स्थानीय लोगों को पता चला कि उन्होंने इस दुर्लभ फल मियाज़ाकी आम (Miyazaki Mango) को उगाना शुरू कर दिया है, तब चोरों ने पिछले साल उनके बगीचे में सेंध लगाई और आमों को चुरा लिया. उन्होंने कहा कि वे किसी तरह पेड़ों को बचाने में कामयाब रहे. परिहार ने कहा कि उन्होंने इस साल दुर्लभ पेड़ों और सात आमों की रक्षा के लिए चार गार्ड और छह कुत्तों को नियुक्त किया है.