केसर की खेती अब सिर्फ जम्मू-कश्मीर तक सीमित नहीं, बल्कि अन्य राज्यों में भी हो रही है. केसर ठंडी जलवायु में उगने वाली फसल है. इसीलिए जम्मू-कश्मीर में खेती बहुत अधिक होती है. लेकिन उत्तरप्रदेश के बुंदलेखंड में तो किसानों ने बंजर जमीन पर केसर की खेती करके दिखा दी. जो किसानों की कुछ हटकर नया करने की जिद और कड़ी मेहनत से हो पाया. सभी जानते हैं कि केसर कितना महंगा मिलता है और उपयोगी भी कितना होगा है, ऐसे में केसर की खेती भी लाजमी है कि मुनाफेमंद ही होगी. अगर आप भी केसर की खेती करना चाहते हैं तो इस तरह कर सकते हैं जानिए तरीका..
केसर की खेती
केसर की खेती अधिकांश क्षेत्र में होती है. इसका पौधा कली निकलने से पहले बारिश एवं हिमपात दोनों बर्दाश्त कर लेता है, लेकिन कलियों के निकलने के बाद ऐसा होने पर पूरी फसल चौपट हो जाती है. मध्य एवं पश्चिमी एशिया के स्थानीय पौधे केसर को कंद (बल्ब) द्वारा उगाया जाता है.
केसर की खेती के लिए प्रशिक्षण
भारत में कुछ संस्थान केसर खेती के लिए प्रशिक्षण भी देते हैं. जिनमें गुजरात के गांधी नगर स्थित महात्मा गांधी संस्थान और पालमपुर में स्थित सीएसआईआर-हिमालय जैवसपंदा प्रौद्योगिकी संस्थान शामिल हैं. आप यहां से प्रशिक्षण के साथ केसर के बीज भी ले सकते हैं.
केसर की खेती के लिए जलवायु और मिट्टी
केसर की खेती के लिए रेतीली, चिकनी, बलुई या फिर दोमट मिट्टी उपयुक्त रहती है. इसके अलावा भी कई प्रकार की मिट्टी में केसर उगाया जा सकता है. लेकिन ध्यान रहे जहां भी इसे उगाया जाए वहां उचित जल निकास की व्यवस्था होनी चाहिए. क्योंकि जल जमाव के कारण केसर के क्रोम्स खराब हो जाते हैं.
केसर की खेती के लिए खेत की तैयारी
केसर का बीज बोने या लगाने से पहले खेत कि अच्छी तरह से जुताई होनी चाहिए. इसके अलावा मिट्टी को भुरभुरा बनाकर आखिरी जुताई से पहले 20 टन गोबर का खाद और साथ में 90 किलोग्राम नाइट्रोजन 60 किलोग्राम फास्फोरस और पोटाश प्रति हेक्टेयर के दर से खेत में डाला जाता है. साथ ही इससे भूमि की उपजाऊ क्षमता बढ़ेगी जिससे केसर की खेती भी अच्छी होगी.
केसर की खेती के लिए उचित समय
केसर की खेती ऊंचे पहाड़ी क्षेत्रों में जुलाई से अगस्त महीने तक की जाती है लेकिन मध्य जुलाई का समय इसकी खेती के लिए ज्यादा अच्छा माना जाता है. जबकि मैदानी इलाकों में केसर की खेती का उचित समय फरवरी से मार्च का माना जाता है.
केसर की खेती के लिए बीजों की बुवाई
केसर के क्रोम्स लगाने के लिए सबसे पहले 6 से 7 सेमी का गड्ढा करें और दो क्रोम्स के बीच की दूरी लगभग 10 सेमी रखें. ऐसा करने से क्रोम्स अच्छे से फैलती है और पराग भी अच्छी मात्रा में निकलते हैं.
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केसर उगाने से कमाई
एक बार केसर की पैदावार के बाद इसी अच्छे तरह से पैक करके किसी भी नजदीकी मंडी में अच्छे दामों में बेच सकते हैं. असली केसर की डिमांड सभी जगह पर रहती है. जो काफी महंगी बिकती है. ऐसे में आप अपने खेत से केसर पैदा कर अच्छी कीमतों पर बेच सकते हैं. साथ ही ऑनलाइन भी बेच कर सकते हैं. इस तरह आप केसर की खेती करके अच्छा खासा मुनाफा कमा सकते हैं.