भारतीयों के खाने में जब तक मिर्च का जायका ना लगे तब तक खाने का स्वाद अधूरा रहता है. कुछ लोगों बहुत तीखा पसंद करते हैं तो कुछ कम, किसी को लाल मिर्च का तीखापन भाता है तो किसी को हरी का. यहीं कारण है कि भारत में जलवायु व स्वाद के अनुसार हर जगह अगल-अलग प्रकार की मिर्च उगाई जाती है. यह मिर्च स्वाद के साथ साथ आकार में भी अलग दिखाई देती हैं. पूरब से लेकर पश्चिम व उत्तर के लेकर दक्षिण तक आज हम आपको इस लेख के माध्यम से विभिन्न जगह पाई जाने वाली तीखी मिर्च के बारे में बता रहे हैं.
भूत जोलकिया (Bhut Jolokia)
भूत जोलकिया मिर्च भारत के नॉर्थ ईस्ट राज्य अरुणाचल प्रदेश, असम, नागालैंड और मणिपुर में पाई जाती है, जो दुनिया की सबसे तीखी मिर्च है. यह अपने तीखेपन के लिए देश ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया में प्रचलित है. यह खाने में इतनी तीखी है कि इसका नाम भूत जोलकिया रखा गया और कुछ जगहों पर इसे घोस्ट पेपर के नाम से भी जाना है. इतना ही नहीं अपने तीखेपन के वजह से इसे गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में शामिल किया गया है.
कश्मीरी मिर्च (Kashmiri Chilli)
जैसा कि नाम से ही स्पष्ट है कि यह मिर्च कश्मीर से ताल्लुक रखती है. कश्मीर के साथ यह हिमाचल प्रदेश के कुछ हिस्सों में उगाई जाती है. इसका रंग गहरा लाल होता है और यही रंग इस मिर्च की पहचान भी है. बात करें स्वाद की तो कश्मीरी मिर्च खाने में ज्यादा तीखी नहीं होती है. खाने में इसका इस्तेमाल रंग के लिए और खाने की सुदंरता को बढ़ाने के लिए किया जाता है.
मुंडू मिर्च (Mundu Chilli)
मिर्च की श्रेणी में मुंडू मिर्च भी शामिल है. यह आकार में छोटी एवं गोल होती है, इसकी यही बनावट इसे दूसरी मिर्च से अलग बनाती है. मुंडू मिर्च की बाहरी परत पतली होती है और इसमें गूदा अधिक होता है. साथ ही इसका स्वाद तीखा और जबरदस्त होता है.
गुंटूर मिर्च (Guntur chilli)
वैसे तो भारत के मसाले पूरी दुनिया में प्रचलित हैं, जिसमें दक्षिण भारत के मसालों का काफी योगदान है. गुंटूर मिर्च भी इसी में शामिल है. इसका स्वाद लाजवाब है, इसी वजह से इसका निर्यात भी किया जाता है.
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ज्वाला मिर्च (Jwala Mirchi)
तीखी मिर्च की श्रेणी में ज्वाला मिर्च भी शामिल है. ज्वाला मिर्च मुख्यत: गुजरात के दक्षिणी हिस्सों में पाई जाती है. स्वाद में तीखी होने से इसका इस्तेमाल चटपटी चटनी, अचार और खाने में किया जाता है.