PM Kisan Yojana 21वीं किस्त: नवंबर के किस सप्ताह में आएंगे पैसे? जानिए लेटेस्ट अपडेट और संभावित तारीख गेंहू की इन टॉप 10 किस्मों से किसान प्राप्त कर सकते हैं 80 क्विंटल तक पैदावार, जानें अन्य खासियत! राज्य सरकार की बड़ी सौगात! 90% सब्सिडी पर मिलेगा सोलर पंप, जानें कैसे मिलेगा लाभ किसानों को बड़ी राहत! अब ड्रिप और मिनी स्प्रिंकलर सिस्टम पर मिलेगी 80% सब्सिडी, ऐसे उठाएं योजना का लाभ जायटॉनिक नीम: फसलों में कीट नियंत्रण का एक प्राकृतिक और टिकाऊ समाधान Student Credit Card Yojana 2025: इन छात्रों को मिलेगा 4 लाख रुपये तक का एजुकेशन लोन, ऐसे करें आवेदन Pusa Corn Varieties: कम समय में तैयार हो जाती हैं मक्का की ये पांच किस्में, मिलती है प्रति हेक्टेयर 126.6 क्विंटल तक पैदावार! Watermelon: तरबूज खरीदते समय अपनाएं ये देसी ट्रिक, तुरंत जान जाएंगे फल अंदर से मीठा और लाल है या नहीं
Updated on: 29 October, 2025 10:42 AM IST
गेहूं की नई किस्म WH-1402 (Image source - Freepik)

भारत में कई प्रकार की फसलों का उत्पादन किया जाता है, जिनमें गेहूं प्रमुख फसलों में से एक है। देशभर में किसान बड़े पैमाने पर गेहूं की खेती करते हैं और भारत में सबसे अधिक गेहूं की किस्में पाई जाती हैं। गेहूं उत्पादक किसानों के लिए एक बड़ी खुशखबरी सामने आई है. हाल ही में हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय (CCSHAU) ने किसानों के लिए एक नई उन्नत गेहूं की किस्म WH-1402 लॉन्च की है।

यह किस्म केवल 147 दिनों में पककर तैयार हो जाती है और कम सिंचाई में भी अधिक उपज देती है।

WH-1402 किस्म की विशेषताएं

  1. मजबूत बालियां

गेहूं की इस किस्म की खासियत यह है कि इसकी बालियां बेहद मजबूत होती हैं। तेज हवा, बारिश या खराब मौसम में भी यह फसल गिरती नहीं है और अपनी जगह पर मजबूती से खड़ी रहती है।

  1. कम समय में तैयार फसल

यह किस्म 147 दिनों में पूरी तरह पक जाती है, जबकि अन्य पारंपरिक किस्मों को 160–170 दिन लगते हैं। इससे किसान अगली फसल की तैयारी समय पर कर सकते हैं और खेती की चक्र अवधि घट जाती है।

  1. उच्च पोषक तत्व

इस किस्म में पोषक तत्वों की मात्रा भी अधिक है –

  • प्रोटीन: 11.3%

  • हेक्टोलिटर वज़न: 77.7 किलो/हेक्टोलिटर

  • लौह (Iron): 37.6 पीपीएम

  • जिंक (Zinc): 37.8 पीपीएम

इन गुणों के कारण यह किस्म पौष्टिकता और गुणवत्ता के मामले में अत्यंत श्रेष्ठ मानी जाती है।

 

किसानों को कितना होगा लाभ?

अगर किसान इस किस्म की बुवाई करते हैं, तो उन्हें कई फायदे मिल सकते हैं –

  • फसल कम समय में तैयार हो जाती है, जिससे अगली फसल की तैयारी समय पर हो पाती है।

  • यह किस्म कम सिंचाई में भी अधिक उपज देती है।

  • खराब मौसम में भी यह फसल स्थिर प्रदर्शन करती है और किसानों को निराश नहीं करती।

पैदावार और उत्पादक क्षमता

  • WH-1402 गेहूं की इस किस्म ने किसानों को शानदार परिणाम दिए हैं। यह औसतन 65 से 70 क्विंटल प्रति हेक्टेयर तक की उपज दे सकती है।

  • गेहूं की यह वैरायटी उच्च गुणवत्ता वाले बीजों के साथ आती है, जिनमें विभिन्न पोषक तत्व मौजूद हैं। यह ब्रेड, बिस्किट और अन्य खाद्य उत्पादों के लिए भी उपयुक्त मानी जाती है।

इन क्षेत्रों के किसानों को होगा लाभ

  • हरियाणा, पंजाब, पश्चिमी उत्तर प्रदेश और राजस्थान जैसे राज्य, जहां गेहूं प्रमुख फसल है, वहां के किसान इस नई किस्म को अपनाकर उत्पादकता में उल्लेखनीय सुधार कर सकते हैं।

  • कम समय में तैयार होने वाली, पौष्टिक, टिकाऊ और उच्च उत्पादकता वाली यह किस्म किसानों के लिए गेम चेंजर साबित हो सकती है और उनकी कमाई में वृद्धि कर सकती है।

English Summary: HAU launched a new wheat variety WH-1402; farmers to get yield up to 70 quintals per hectare
Published on: 29 October 2025, 10:49 AM IST

कृषि पत्रकारिता के लिए अपना समर्थन दिखाएं..!!

प्रिय पाठक, हमसे जुड़ने के लिए आपका धन्यवाद। कृषि पत्रकारिता को आगे बढ़ाने के लिए आप जैसे पाठक हमारे लिए एक प्रेरणा हैं। हमें कृषि पत्रकारिता को और सशक्त बनाने और ग्रामीण भारत के हर कोने में किसानों और लोगों तक पहुंचने के लिए आपके समर्थन या सहयोग की आवश्यकता है। हमारे भविष्य के लिए आपका हर सहयोग मूल्यवान है।

Donate now